जांजगीर-चांपा / शौर्यपथ / जिला बाल संरक्षण समिति एवं जिला स्तरीय टास्क फोर्स की त्रैमासिंक बैठक आज जिला पंचायत कार्यालय के सभाकक्ष में आयोजित की गई। जिला पंचायत सीईओ तीर्थराज अग्रवाल ने अबतक किए गए कार्यवाही की समीक्षा करते हुए कहा कि लंबित प्रकरणों के समय पर निराकरण से ही बोर्ड का उद्देश्य पूरा होता है। पक्षकारों को नोटिस तामिल करवाकर उपस्थिति सुनिश्चित करवाया जाए। समय पर निराकरण होने से ही हितग्राहियों को लाभ मिलेगा।
बैठक में विगत बैठक की विवरण एवं पालन प्रतिवेदन की कार्रवाई प्रस्तुत की गईं। जिला बाल कल्याण समिति एवं किशोर न्याय बोर्ड के लंबित एवं निराकरण पर चर्चा की गयी। महिला एवं बाल विकास विभाग की जिला कार्यक्रम अधिकारी श्रीमती प्रीति खोखर चखियार ने बताया कि बाल कल्याण समिति द्वारा 22 प्रकरणों का निराकरण किया गया है। माह के अंत तक 310 प्रकरण लंबित हैं।
बाल विवाह प्रतिषेध अधिनियम 2006 के तहत जनवरी 2020 से नवंबर माह तक 21 बाल विवाह रोका गया। वहीं बाल कल्याण समिति के समक्ष गुमशुदा बच्चों की दस्तयाब होने पर 83 प्रकरण प्रस्तुत किए गए।
बैठक में सीएमएचओ डॉ एस आर बंजारे, उपसंचालक समाज कल्याण टीपी भाव,े जिला शिक्षा अधिकारी श्री के एस तोमर, बाल कल्याण समिति के अध्यक्ष श्रीमती नम्रता पटेल, सदस्य मोतीलाल चन्द्रम, सुश्री संतोषी राठौर, किशोर न्याय बोर्ड सदस्य सुरेश जायसवाल, डाॅ. इन्दु साधवानी, श्रीमती नीता थवाईत, श्रीमति शमिष्ठा कंसारी, एसडीओपी खलखो, सहायक आयुक्त आदिम जाति कल्याण विभाग प्रकाश चन्द्र लहरे, जिला बाल संरक्षण अधिकारी गजेन्द्र सिंह जायसवाल, संरक्षण अधिकारी सुश्री पूजा तिवारी, संरक्षण अधिकारी श्रीमती ज्योति मिश्रा एवं जिला बाल संरक्षण इकाई के समस्त अधिकारी-कर्मचारी, जिले में संचालित बाल देखरेख संस्था के अधीक्षक बबलू यादव, लखन लाल सुर्यवंशी एवं चाइल्ड लाइर्न जांजगीर एवं सक्ती प्रभारी उपस्थित थे।