दुर्ग / शौर्यपथ / दुर्ग शहर में कांग्रेस की सरकार बनते ही दुर्ग ग्रामीण के विधायक एवं प्रदेश के पीडब्ल्यूडी मंत्री ताम्रध्वज साहू द्वारा शहर को जोड़ने वाली सडको को चौडीकरण के लिए कई योजनाओं को मूर्त रूप दिया जिस पर कार्य भी प्रगति पर है किन्तु इसी दुर्ग शहर जो जिला मुख्यालय के साथ साथ प्रदेश के मुख्य मंत्री , गृह मंत्री का गृह जिला भी है में पीडब्ल्यूडी के कार्यो में भारी अनियमितता बरती जा रही है और कार्य एजेंसी द्वारा खुले आम नियमो को ताक में रख कर शहर की जनता को किसी अप्रिय घटना का निमंत्रण दे रही है . वही विभाग के जिम्मेदार अधिकारी पीडब्ल्यूडी के कार्यपालन अभियंता श्रीवास समेत अधिनस्त अधिकारी सभी इस मामले में मौन है .
बता दे कि दुर्ग के नेहरू नगर चौक से पुलगांव चौक तक लगभग 80 करोड़ की लगत से सड़क चौडीकरण का कार्य चल रहा है . इस कार्य के गुणवत्ता की , सुरक्षा की एवं सभी मापदंडो की देख रेख की जिम्मेदारी दुर्ग पीडब्ल्यूडी विभाग की है जिसमे फिल्ड स्तर के इंजिनियर गगन जैन , एसडीओपी ओंगरे एवं कार्यपालन अभियंता अशोक श्रीवास की जिम्मेदारी है कि कार्य एजेंसी के कार्यो का निरिक्षण करे , गुणवत्ता की जाँच करे एवं शहर के मध्य से निकलने वाली निर्माणाधीन रोड पर सुरक्षा का ध्यान रखने के लिए ठेकेदार को समय समय पर अवगत करते रहे किन्तु जब से निर्माण शुरू हुआ है गुणवत्ता की बात तो दुर्ग शहर के मध्य से निकलने वाली निर्माणाधीन सड़क पर सुरक्षा के कोई उपाय नहीं किये जा रहे है , जगह जगह सडको के बीच बने डिवाईडर पर कोई बेरीकेट नहीं लगे जिसके कारण कही से भी सडको को पार किया जा रहा है , निर्माणाधीन डिवाईडर पर लोहे के सरिये जगह जगह निकले हुए है जिससे दुर्घटना एवं जान जाने का खतरा वाहन चालको के ऊपर बना रहता है , धुल और निर्माणाधीन मटेरियल के ढेर जगह जगह सडको पर नजर आते आम देखे जा सकते है जिस पर कई बार शहर विधायक वोरा द्वारा अधिकारियों को अवगत कराया गया किन्तु जिम्मेदार अधिकारियों के कान में जू नहीं रेंग रही है , कई स्थान पर वाहन डिवाईडर से भी टकरा चुके है जिसके कारण डिवाईडर के कुछ अंश भी टूट गए , पूरा रास्ता धुल मिटटी से सना हुआ है जिस पर भी कोई सकारात्मक कदम जिम्मेदार इंजीनियरों द्वारा नहीं उठाया जा रहा है .
डिवाइडर पर निकले हुए लोहे के सरिये दे रहे दुर्घटना को न्योता
ऐसा नहीं है कि इस बात की जानकारी इन अधिकारियों को नहीं है इन रास्तो का ईस्तमाल ये जिम्मेदार अधिकारी भी करते है हाँ ये ज़रूर हो सकता है कि सरकारी गाडी पर वातानुकूलित गाडी पर सफ़र करने वाले ये अधिकारी जनता की परेशानियों से अवगत न हो किन्तु आम जनता जो महीनो से in रास्तो पर मौत से जंग लड़ते हुए सफ़र कर रही उस पर आखिर पीडब्ल्यूडी के जिम्मेदार अधिकारी क्यों मौन है ये समझ से परे है .
क्या कांग्रेसी नेता के रिश्तेदार की कंपनी के कारण मौन है ये अधिकारी ...
सडको के किनारे पड़े वेस्ट मटेरिय से हो सकती है बड़ी दुर्घटना
शहर में सड़क चौडीकरण के कारण आम जनता परेशान है एवं कई बार शहर विधायक वोरा भी इस बात के लिए अधिकारियों को निर्देशित कर चुके है किन्तु चर्चा है कि कांग्रेस के बड़े नेता के रिश्तेदार को ठेका मिला हुआ है जिसके कारण ये अधिकारी चाटुकारिता या भय के कारण ठेकेदार के ऊपर कोई सख्त कदम नहीं उठा पा रहे है . अगर ये बात सही है तो क्या आम जनता के जीवन का कोई मोल नहीं है ?