दुर्ग / शौर्यपथ / दुर्ग शहर में इन दिनों सड़क निर्माण कार्य कई स्थानों पर जारी है वहीं नगर निगम द्वारा वित्त आयोग मद से गौरव पथ चौडीकरण एवं शिवनाथ नदी चौडीकरण का कार्य लगभग ९ करोड़ की लागत से किया जा रहा है . दोनों ही कार्य वर्तमान समय में निगम के द्वारा किये जा रहे बड़े कार्यो की श्रेणी में रखा जा रहा है . एक तरफ जहां दुर्ग निगम के छोटे बड़े सभी सडको को बनाने के लिए हाल ही में 20 लाख की संधारण राशि खर्च करने के बाद भी स्थिति में सुधार नहीं होने पर 7 करोड़ से पुनह निर्माण किये जाने की बात कही जा रही है वही सिर्फ दो सडको के चौडीकरण में ९ करोड़ के करीब की राशि खर्च करने के बाद भी ठेकेदारों द्वारा जबरदस्त घोटाले को अंजाम दिया जा रहा है .
सरिये पर घोटाला
दोनों सड़क के चौडीकरण में नालियों का भी नए सिरे से निर्माण किया जा रहा है किन्तु नालियों की दीवार को मजबूती प्रदान करने में जितनी अहम् भूमिका रेत गिट्टी मसाले की होती है उतनी ही अहम् भूमिका सरिये की भी होती है . मसाले तो स्तर हीन है ही जो जांच का विषय है किन्तु लगने वाले सरिये की बात करे तो यहाँ सम्बंधित ठेकेदारों द्वारा १० mm सरिये की जगह 8 mm सरिये का इस्तमाल खुल कर किया जा रहा है वही एक निश्चित दुरी लगाने के मामले में भी यहाँ घोल्माल साफ़ नजर आ रहा है . सम्बंधित अधिकारियों से मिली जानकारी के अनुसार 8*8 की दुरी में सरिय्रे लगने चाहिए किन्तु यहाँ निर्माण में एक फीट तो कही एक फीट से भी ज्यादा दुरी पर सरिये लगाया जा रहा है जिससे नालिय waर्तमान में तो ठीक लगेगी किन्तु अपनी पूरी उम्र बिताने के पहले ही कमजोर हो जायेंगी .
बता दे कि दोनों मार्ग में यातायात का दबाव अत्याधिक रहता है . गौरव पथ की हालत से तो दुर्ग की आम जनता वाकिफ है वही शिवनाथ नदी मुक्ति धाम मार्ग पर बनने वाले लक्षमण झुला के बाद यहाँ भी यातायात का दबाव बढेगा ऐसे में निर्माण में लापरवाही सिर्फ शासन के पैसो की बर्बादी ही नजर आ रही है .
आखिर क्यों साइड इंजिनियर मोहित मरकाम नहीं दे पा रहे है जानकारी ...
ठेकेदार तो अपने निर्माण में लापरवाही बरत कर धन अर्जित कर लेंगे किन्तु कार्य एजेंसी निगम के साइड इंजिनियर मोहित मरकाम आखिर मामले पर संज्ञान क्यों नहीं ले रहे जब आम जनता को साफ़ नजर आ रहा है वही साइड इंजिनियर मरकाम मामले की जानकारी देने से भी कतरा रहे है . कई बार सड़क चौडीकरण के मामले में मरकाम से जानकारी लेने की कोशिश की गयी किन्तु हर बार कोई ना कोई काम की व्यस्तता की बात कर मामले को टालने की कोशिश जारी है .
नव पदस्त आयुक्त से है निष्पक्ष जाँच की उम्मीद ...
शौर्यपथ समाचार पत्र के पास ऐसे प्रमाण मौजूद है जिससे यह प्रमाणित हो जाएगा कि इस कार्य में नालियों के निर्माण में भ्रष्टाचार किया जा रहा है अगर नव पदस्त आयुक्त लोकेश चंद्राकर मामले की निष्पक्ष जांच एवं कड़ी कार्यवाही के लिए अग्रसर रहे तो शौर्यपथ समाचार पत्र सारे प्रमाण आयुक्त श्री लोकेश चंद्राकर को उपलब्ध करा देगा .
विधायक को लेना चाहिए संज्ञान में ...
जिस तरह गौरव पथ और शिवनाथ मुक्तिधाम को शहर के विकास में बड़ा कदम बताते है विधायक वोरा तो आम जनता भी उनसे उम्मीद करती है कि इस निर्माण में हो रहे भ्रष्टाचार की निष्पक्ष जांच एवं कड़ी कार्यवाही के लिए अधिकारियों को निर्देशित करेंगे . चार साल तक शहर की जनता बदहाल , सडक , धुल भरी सड़क और अन्य अव्यवस्थाओ के कारण है अब चुनावी वर्ष में जनता को भी उम्मीद है कि उनके द्वारा चुने हुए जनप्रतिनिधि शहर को अच्छे मार्ग उपलब्ध करवाए .