रायपुर/शौर्यपथ।
प्रदेश में शिक्षकों की कमी और युक्तियुक्तकरण नीति को लेकर कांग्रेस ने सरकार पर सीधा हमला बोला है। प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि सरकार दावा कर रही है कि युक्तियुक्तकरण के बाद प्रदेश का कोई भी स्कूल शिक्षकविहीन नहीं है, जबकि वास्तविकता यह है कि बेमेतरा, बालोद, धमतरी, कोरबा, बस्तर, राजनांदगांव सहित सभी जिलों में बच्चे, पालक और आम नागरिक शिक्षक नियुक्ति की मांग को लेकर धरना, प्रदर्शन और चक्काजाम कर रहे हैं।
कांग्रेस का आरोप: शिक्षा व्यवस्था ढह गई
ठाकुर ने कहा कि युक्तियुक्तकरण के चलते स्कूलों में पढ़ाई बुरी तरह प्रभावित हुई है। सरकार के “गुणवत्ता सुधार” के दावे बेईमानी साबित हो रहे हैं। 57,000 शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया शुरू करने के बजाय, सरकार ने 10,463 स्कूल बंद कर दिए और नये सेटअप में पद घटाकर शिक्षकों को भयादोहन किया। हर माह सैकड़ों शिक्षक सेवानिवृत्त हो रहे हैं, लेकिन पिछले 20 महीनों में एक भी नियमित शिक्षक की नियुक्ति नहीं हुई।
एक-दो शिक्षकों पर चल रहे हैं स्कूल
कांग्रेस प्रवक्ता ने बताया कि कई प्राथमिक, हाई स्कूल और हायर सेकेंडरी स्कूल महज एक या दो शिक्षकों पर निर्भर हैं, जिससे पढ़ाई बुरी तरह प्रभावित है। “युक्तियुक्तकरण का फैसला शिक्षा के क्षेत्र में आत्मघाती कदम साबित हो रहा है,” ठाकुर ने कहा। “बच्चे अपने भविष्य को लेकर चिंतित हैं, लेकिन सरकार उनकी आवाज सुनने को तैयार नहीं।”
तत्काल सुधार की मांग
ठाकुर ने मांग की कि सरकार सभी प्रभावित स्कूलों में पर्याप्त शिक्षक उपलब्ध कराए, जबरन मर्ज किए गए स्कूलों का डिस्कोड वापस करे और शिक्षकों को पुनः उनके मूल स्कूलों में भेजे। साथ ही, जिन स्कूलों में शिक्षकों की कमी है, वहां भर्ती प्रक्रिया तत्काल शुरू की जाए।