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धर्म संसार / शौर्यपथ / प्रभु यीशु के जन्म की ख़ुशी में मनाया जाने वाला क्रिसमस का त्योहार पूरी दुनिया में मनाया जाता है। यह त्योहार कई मायनों में बेहद खास है। क्रिसमस को बड़ा दिन, सेंट स्टीफेंस डे या फीस्ट ऑफ़ सेंट स्टीफेंस भी कहा जाता है। प्रभु यीशु ने दुनिया को प्यार और इंसानियत की शिक्षा दी। उन्होंने लोगों को प्रेम और भाईचारे के साथ रहने का संदेश दिया। प्रभु यीशु को ईश्वर का इकलौता प्यारा पुत्र माना जाता है। इस त्योहार से कई रोचक तथ्य जुड़े हैं। आइए जानते हैं इनके बारे में।
क्रिसमस ऐसा त्योहार है जिसे हर धर्म के लोग उत्साह से मनाते हैं। यह एकमात्र ऐसा त्योहार है जिस दिन लगभग पूरे विश्व में अवकाश रहता है। 25 दिसंबर को मनाया जाने वाला यह त्योहार आर्मीनियाई अपोस्टोलिक चर्च में 6 जनवरी को मनाया जाता है। कई देशों में क्रिसमस का अगला दिन 26 दिसंबर बॉक्सिंग डे के रूप मे मनाया जाता है। क्रिसमस पर सांता क्लॉज़ को लेकर मान्यता है कि चौथी शताब्दी में संत निकोलस जो तुर्की के मीरा नामक शहर के बिशप थे, वही सांता थे। वह गरीबों की हमेशा मदद करते थे उनको उपहार देते थे। क्रिसमस के तीन पारंपरिक रंग हैं हरा, लाल और सुनहरा। हरा रंग जीवन का प्रतीक है, जबकि लाल रंग ईसा मसीह के रक्त और सुनहरा रंग रोशनी का प्रतीक है। क्रिसमस की रात को जादुई रात कहा जाता है। माना जाता है कि इस रात सच्चे दिल वाले लोग जानवरों की बोली को समझ सकते हैं। क्रिसमस पर घर के आंगन में क्रिसमस ट्री लगाया जाता है। क्रिसमस ट्री को दक्षिण पूर्व दिशा में लगाना शुभ माना जाता है। फेंगशुई के मुताबिक ऐसा करने से घर में सुख समृद्धि आती है। पोलैंड में मकड़ी के जालों से क्रिसमस ट्री को सजाने की परंपरा है। मान्यता है कि मकड़ी ने सबसे पहले जीसस के लिए कंबल बुना था।
दुर्ग / शौर्यपथ / दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे मजदूर यूनियन कांग्रेस द्वारा डॉक्टर्स डे के अवसर पर शासकीय रेलवे विद्यालय के प्रांगण जोन 2, चरोदा में कोरोना संक्रमित मरीजों की सेवा करने वाले मेडिकल स्टाफ, पुलिस विभाग, समाज सेवी संस्था का अभिनंदन व सम्मान समारोह आयोजित किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की चित्र पर माल्यार्पण कर की गई। वैश्विक महामारी कोविड-19 के दौरान 24 घंटे कोरोना संक्रमित मरीजो को सेवाए प्रदान करने वाले समस्त स्टाफ एवं डॉक्टरों का सम्मान प्रतीक चिन्ह, प्रशस्ति पत्र, बैच लगाकर, पुष्पगुच्छ भेंट कर किया गया। भव्य अभिनंदन व सम्मान समारोह का आयोजन दक्षिण पूर्व मध्य रेल्वे कांग्रेस मजदूर यूनियन व नगर पालिका निगम भिलाई चरोदा के पार्षद जीत सिंह एवं पार्षद श्रीमती किरण राजू नायडू के द्वारा आयोजित की गई ।
इस भव्य आयोजन के मुख्य अथिति प्रदेश के लोक स्वास्थय यांत्रिकी मंत्री गुरु रूद्र कुमार थे । सम्मान समारोह का संचालन डी. विजय कुमार ने किया। उन्होंने बताया कि इस वैश्विक महामारी से लोगों को बचाने देश में करीबन 800 चिकित्सकों के द्वारा अपनी जान गवाई है, इसके अलावा पैरामेडिकल स्टाफ फ्रंटलाइन वर्कर्स नगर निगम कर्मचारी पुलिस प्रशासन के द्वारा भी बहुत कुछ खो कर लोगों की प्राणों की रक्षा करने में अथक परिश्रम यह है। इसे ध्यान में रखकर नागरिकों को चाहिए कि भविष्य में भी कोविड-19 प्रोटोकॉल का पालन अनिवार्य रूप से करें । कार्यक्रम के मुख्य अथिति मंत्री गुरु रूद्र कुमार ने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि डॉक्टर्स डे समारोह देश के महान चिकित्सक एवं पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री डॉ. विधान चंद्र राय की जयंती के अवसर पर आयोजित किया जाता है । अस्पताल में प्रत्येक डॉक्टर सहित पैरामेडिकल स्टाफ ने दिन और रात अथक प्रयास करके अस्पताल में इलाज के लिए पहुंचने वाले एक एक मरीज की जान बचाने के लिए संघर्ष किया है।
डॉक्टर्स डे के अवसर पर इन सभी कोरोना वारियर्स डॉक्टर एवं पैरामेडिकल स्टाफ की सराहना करते हुए सभी का हृदय से आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर डॉ. के.सी बाघ, डॉ. बी.के.टोप्पो, डॉ. श्रीमती शांति पूर्ति, डॉ. शुभम सावंत, डॉ. ए बी केरकेट्टा, डॉ. आशीष शर्मा, डॉ. आदित्य नारायण शर्मा, डॉ. स्मृति पांडे, का सम्मान मंत्री गुरु रूद्रकुमार ने पुष्पगुच्छ ,प्रतीक चिन्ह, प्रशस्ति पत्र प्रदान कर किया । इसके अलावा कोरोना वारियर्स में मेडिकल नर्स टीम में एम.रामाराव, टी रमन्ना राव, रेलवे मजदूर कांग्रेस से अनु चाको, राजू नायडू, सुधाकर, ए शेष बाबू, पुलिस विभाग से थाना प्रभारी भिलाई-3 विनय सिंह बघेल, शासकीय रेलवे पुलिस थाना प्रभारी चरोदा महेंद्र पांडे, सिविल डिफेंस से कोटेश्वर राव, रत्नेश साहू, जयशंकर शर्मा, बी तुलसी राव तथा भिलाई क्षेत्र की अनेक समाज सेवको को मंत्री गुरु रूद्रकुमार के द्वारा सम्मानित किया गया।
इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से नगर पालिक निगम भिलाई चरोदा के आयुक्त डॉ. कीर्तिमान सिंह राठौर, मुख्य स्वास्थ्य अधिकारी जिला दुर्ग डॉ. गंभीर सिंह ठाकुर, नगर पालिक निगम भिलाई सभापति विजय जैन, एल्डरमैन संजय साहू, श्रीमती रानी वर्मा , दिलीप ध्रुव, पार्षद राजेश दांडेकर, संगीत शोरी, किरण राजू नायडू, जीत सिंह, राम सूर्यवंशी व अन्य कार्यकर्ता एवं पदाधिकारी गण भी उपस्थित हुए ।
दुर्ग / शौर्यपथ / बीएम शाह हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर में एक जुलाई को डॉक्टर्स डे समारोह का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में दुर्ग रेंज के आईजी विवेकानंद सिन्हा उपस्थित हुए। कार्यक्रम विशेष अतिथि बीएम शाह हॉस्पिटल के ट्रस्टी रवि शाह रहे। वहीं कार्यक्रम की अध्यक्षता हॉस्पिटल के मेडिकल डायरेक्टर डॉ रूपेश अग्रवाल ने की। इस मौके पर हॉस्पिटल की सीनियर गायनेकोलॉजिस्ट कंसल्टेंट डॉ ज्ञानवती अग्रवाल उपस्थित रही। कार्यक्रम के दौरान मुख्य अतिथि आईजी सिन्हा ने अस्पताल के सभी विभागों के डॉक्टरों का सम्मान किया।
इस मौके अपने संबोधन में आईजी सिन्हां ने जीवन बचाने में डॉक्टरों के योगदान को सराहा। उन्होंने कहा कि समाज डॉक्टरों का स्थान सबसे ऊंचा होता है। हर व्यक्ति के लिए चाहे वह कितना भी बड़ा हो एक न एक पल ऐसा जरूर होता है जब वह डॉक्टर की सेवा लेता है। आज हम कोरोना नाम की सबसे बड़ी संकामक बीमारी का सामना कर रहे हैं और इस संकट काल में डॉक्टरों का योगदान महत्वपूर्ण रहा है। यह ऐसा समय है जहां लोग एक दूसरे के नजदीक आने से कतरा रहे हैं वहीं डॉक्टर अपनी जान की परवाह किए बिना मरीजों की सेवा में लगे हैं। आईजी सिन्हा ने सम्मान करते हुए सभी डॉक्टरों को इस विशेष दिन के लिए बधाई दी। कार्यक्रम के अंत में आभार प्रदर्शन हॉस्पिटल के असिस्टेंट डायरेक्टर डॉ अरुण कुमार मिश्रा ने किया। इस मौके पर कार्यक्रम में पहुंचे आईजी सिन्हा को धन्यवाद देते हुए उन्हें स्मृति चिन्ह भेंट किया गया।
इन डॉक्टरों का हुआ सम्मान
डॉक्टर्स डे सम्मान समारोह में जिन डॉक्टरों का सम्मान हुआ उनमें आईसीयू इंचार्ज डॉ नीरज रायकवाड, जनरल सर्जन डॉ राहुल सिंह, एमडी मेडिसिन डॉ पवन नामेवार, एमडी मेडिसिन डॉ समर्थ शर्मा, प्लास्टिक सर्जन डॉ दीपक कोठारी, न्यूरो सर्जन डॉ विवेक शर्मा, ईएनटी स्पेशलिस्ट डॉक्टर सुनील नेमा, रेडियोलॉजिस्ट डॉ आरके दिवाकर, फिजियोथैरेपिस्ट डॉ सरल शर्मा, डॉ रजनी वर्मा पैथोलॉजी, डॉ एसके सिंह, डॉ राहुल रंजन मिश्रा, डॉ संगीता राय, डॉ राजेश देशमुख, डॉ प्रशांत सिंह, डॉ निमाई दत्ता, डॉ राजेंद्र साहू, डॉ विजय शर्मा, डॉ दिनेश देवांगन, डॉ अंकिता मेमन, डॉ फरजाना खान, डॉ हेमलता, गायनोलॉजिस्ट डॉ स्वाति जैन, गायनोलॉजिस्ट डॉ स्वाति राय आदि शामिल रहे।
अब पोर्टल नहीं दे रहा दूसरे डोज का परमिशन ,बिना वैक्सीन लगवाये लौट रहे हैं लोग ,सेंटर में भी नहीं मिल पा रहा सही मार्गदर्शन
दुर्ग / शौर्यपथ / किसी अन्य के मोमाइल नंबर दर्ज कर कोविड-19 से बचाव के लिए वैक्सीन का पहला डोज लगाने वालों को दूसरा डोज लगाने में दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। सही मोबाइल नंबर नहीं पता होने से कोविन पोर्टल दूसरे डोज के लिए परमिशन नहीं दे रहा है। ऐसे हितग्राहियों को वैक्सीनेशन सेंटर में कोई मार्गदर्शन नहीं मिल पाने से बिना वैक्सीन लगाये वापस लौटने में मजबूर होना पड़ रहा है।
कोविशील्ड वैक्सीन का दूसरा डोज लेने वालों में अनेक लोग ऐसे भी सामने आ रहे हैं, जिन्होंने पहले डोज के वक्त किसी और का मोबाइल नंबर दर्ज करवाया था। ऐसे लोगों से वैक्सीनेटर सेंटर में रजिस्ट्रेशन के लिए पहले डोज के वक्त दर्ज कराये गए मोबाइल फोन का नंबर मांगा जा रहा है। अनेक लोगों को यह पता ही नहीं कि पहले डोज के समय उन्होंने किसका मोबाइल नंबर दर्ज कराया है। दूसरे का मोबाइल नंबर दर्ज होने से उनके पास पहले डोज का प्रमाण पत्र भी नहीं है। उलझनों के बीच परिवार के अन्य सदस्यों के मोबाइल नंबर लेकर संभावनाओं के तहत कोशिश की जा रही है। जिसमें से कुछ को दूसरे डोज लगाने में सफलता मिल रही है। जबकि अनेक हितग्राही बिना वैक्सीन लगाये ही लौटा दिए जा रहे हैं।
गौरतलब रहे कि 1 अप्रैल से 45 प्लस वालों के लिए वैक्सीनेेशन प्रारंभ किया गया। इस दौरान जिनके पास मोबाइल फोन नहीं थे उनके लिए किसी दूसरे के मोबाइल नंबर से रजिस्ट्रेशन कराने की छूट दी गई थी। वैक्सीन का पहला डोज लेने सेंटर में पहुंचे अनेक हितग्राहियों ने अपने साथ लाइन में खड़े लोगों के मोबाइल नंबर का उपयोग रजिस्ट्रेशन के लिए कर दिया। शुरुवाती दिनों में कोविशील्ड के दोनों डोज के बीच 28 दिन का अंतर रखा गया। बाद में 44 से 56 दिन के अंतराल को बढ़ाकर 84 दिनों का कर दिया गया। अंतराल लंबा हो जाने से अनेक हितग्राहियों को अब याद भी नहीं रहा कि उन्होंने पहले डोज के समय किसका मोबाइल नंबर दर्ज कराया था। इससे कोविन पोर्टल में दूसरे डोज के लिए अनुमति नहीं मिल पा रही है।
खास बात यह भी है कि ऐसे लोगों को वैक्सीनेटर सेंटर में फिलहाल किसी भी प्रकार का मार्गदर्शन नहीं मिल पा रहा है। उन्हें पहले डोज के दौरान दर्ज कराये गए मोबाइल फोन का नंबर अथवा प्रमाण पत्र मांगा जा रहा है। जिनके पास ये दोनों चीजें नहीं है उनके वैक्सीनेशन की दूसरी डोज पर उभरा संशय कैसे दूर होगा, यह बताने वाला कोई नहीं है।
पहले डोज के वैक्सीन का नाम पता नहीं
वैक्सीनेशन सेंटर में काफी संख्या में ऐसे भी लोग पहुंच रहे हैं, जिन्हें यह भी पता नहीं है कि उन्होंने पहला डोज किस वैक्सीन का लिया है। शुरुवाती दिनों में कोविशील्ड के साथ कोवैक्सीन भी लोगों को लगाया गया है। स्वास्थ्य विभाग का स्पष्ट निर्देश है कि पहले डोज के अनुरुप ही दूसरा डोज भी लगाया जाए। हालांकि दूसरे डोज के लिए रजिस्ट्रेशन कराने के दौरान यह पता चल जाता है कि वे किसे कौन सा वैक्सीन पहले डोज में लगा है। लेकिन पुख्ता जानकारी के अभाव में जिनको कोविशील्ड का दूसरा डोज लगना है वे कोवैक्सीन की उपलब्धता वाले सेंटर में पहुंचकर लाइन में लग रहे हैं। इससे सेंटर में अव्यवस्था की स्थिति बन रही है।
दुर्ग / शौर्यपथ / कोरोना से संक्रमित होने के बाद मौत के शिकार हुए लोगों के परिवार वालों को 5 लाख रुपए की सहायता राशि जल्द से जल्द उपलब्ध कराने की मांग सामाजिक कार्यकर्ता सुमन शील ने पत्र भेजकर केंद्र एवं राज्य सरकार से की है । पत्र में सुमन शील ने कहा है कि जिन व्यक्तियों की मौत कोरोना के कारण हुई है उनको सरकार की तरफ से आर्थिक सहायता के एक किस्त की राशि अभी तक मुहैया कराई जानी चाहिए था क्योंकि जाएनेशनल डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट की धारा-12 में आपदा से मरने वाले लोगों के लिए सरकारी मुआवजे का प्रावधान है उसके बावजूद अभी तक कोरोना संक्रमण को महामारी घोषित करने के बावजूद किसी भी सरकार की ओर से जान गवाने वाले परिवारों को सहायता देना तो दूर उन परिवारों के हालचाल तक नहीं पूछा गया है । वही मरने वालों को अस्पताल से सीधे अंतिम संस्कार के लिए ले जाया जा रहा है. उनका न पोस्टमॉर्टम होता और न डेथ सर्टिफिकेट में किया लिखा जाता है उसकी जानकारी परिवार वालों को नहीं रहता जिससे मुआवजा देते समय में भी कई लोग उसका लाभ नहीं ले पाएंगे उस पर भी ध्यान दिए जाने की आवश्यकता है। केंद्र एवं राज्य सरकार आपसी सामंजस्य बनाकर अधिकारियों को दिशा निर्देश दे कि वह मरने वाले लोगों के डेथ सर्टिफिकेट पर मौत की सही वजह दर्ज करें, जिससे की उनके परिवार को मुआवजा मिल सके और कोई परिवार मुआवजा राशि को पाने से वंचित ना रहे।
नवागढ़ / शौर्यपथ / छत्तीसगढ़ सरकार ने फसलों की सुरक्षा और किसानों की आय बढ़ाने के लिए पारंपरिक ‘रोका-छेका’ पद्धति को प्रभावी तरीके से लागू करने का फैसला लिया है।
राज्य सरकार द्वारा ग्रामीण किसानों के फ़सलो की सुरक्षा के लिये रोका छेका कार्यक्रम संचालन किया जा रहा हैं ,बावजूद इसके स्थानीय प्रशासन व ग्राम पंचायत इसकी समुचित व्यवस्था करने में असफल देखी जा रही हैं, औऱ सड़को पर मवेशियों का जमावड़ा बना हुआ है, जिससे किसानों के फसलों की सुरक्षा पर अभी भी सवाल बना हुआ है |
आये दिन इन मवेशियों के सड़क पर होने से सड़क दुर्घटनाऐ भी हो रही। संबलपुर बाजार चौक में बीती रात अज्ञात वाहन की चपेट में 5 मवेशियों की मौत हुई तो वही 3 मवेशी घायल हो गए। नियमतः आवारा पशुओं को गोठान में रखकर समुचित व्यवस्था किये जाने के निर्देश हैं किन्तु ग्राम पंचायतें नींद में है |
इस व्यवस्था के तहत मानसून के दौरान फसलों के नुकसान को रोकने के लिए खेतों में बुवाई की प्रक्रिया पूरी करने के बाद गांवों में पशुओं की खुली चराई को रोक दिया जाता है। कई गांवों में पशुओं को रखने के लिए बाड़े (गोशाला) की सुविधा नहीं है, ऐसे में फसलों के नुकसान के साथ साथ दुर्घटनाएं भी हो रही है । सरकार ने सभी गावों में प्रभावी तरीके से रोका-छेका को लागू करने का फैसला किया है। इस कदम का उद्देश्य कृषि के क्षेत्र में फसलों के नुकसान को कम करना है । लेकिन जमीनी स्तर पर इसका क्रियान्वयन नज़र नही आ रहा।
राज्य सरकार ने सभी सरपंचों से अपील की है कि वह प्रतिबंध के दौरान सभी जानवरों को गौठान में ही रखें, जिससे पशुओं का उचित पोषण और फसलों की सुरक्षा सुनिश्चित हो सके। हाल ही में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा था कि बीज के अंकुरित होने के साथ फसलों की सुरक्षा सुनिश्चित करना महत्वपूर्ण है क्योंकि इससे कृषि उपज बढ़ेगी और किसानों की आय भी बढ़ेगी पर अधिकांश गावों में आलम कुछ और ही है ।
राजनांदगांव / शौर्यपथ / प्रार्थी चुन्नीलाल डेकाटे पिता स्व. रामाजी डेकाटे उम्र 61 वर्ष साकिन सिद्धि विनायक मंदिर के पास जनता कालोनी लखोली, थाना कोतवाली जिला राजनांदगांव ने रिपोर्ट दर्ज कराया कि 4 जून 2021 के दिन शुक्रवार को दोपहर लगभग 3130 बजे अपनी पत्नि विजया डेकाटे, पुत्र सिद्धांत डेकाटे के साथ पारिवारिक कार्य से नागपुर गया था। बाद कार्य 8 जून 2021 के प्रातः 3.30 बजे अपने घर वापस आया तो देखा कि मेन गेट का ताला की कुडी सहित टुटा हुआ था, उसके बाद लोहे का दरवाजा को देखा तो उसकी मी कुंडी सहित टुटा हुआ था। इसी प्रकार घर के अंदर लगे कांच के दरवाजे का भी सेंटर लॉक को उखाड़ कर तोड़ दिये है, उसके बाद लकड़ी के दरवाजा को देखा तो दो सेंटर लॉक व कुंदा टूटा हुआ था घर के अंदर जाकर देखा तो दोनों बेडरूम, स्टोर रूम का कुंदा टुटा हुआ मिला सभी जगह सामान बिखरा हुआ था देखा तो स्टोर रूम के आलमारी में रखा हुआ सोने का गहना 33 ग्रम नेटलेस सेट झुमका सहित, 15 ग्राम सोने का बैन, 35 ग्राम सोने का कंगन, 10 ग्राम, 8 नम के मंगल सूत्र, 7 ग्राम की अंगूठी, 6 ग्राम का झुमका, 5 ग्राम का बाला कीमती लगभग 2,40,000 रूपये एवं चांदी का गहना एवं सामान एक छोटा गिलास, एक लोटा, 15 सिक्के, एक कुमकुम डिब्बा, पायल व बिछिया लगभग 250 ग्राम, 4 जोड़ी पायल 50 ग्राम, 20000 रूपये व नगदी रकम 1,00,000 रूपये एवं एक नग सैमसंग कंपनी का एन्ड्रायड मोबाईल जिसमें वोडाफोन की सीम नंबर-9584077230 एवं टाटा डोकोमो सीम नंबर-77093437 लगी कीमती 5000 रूपये कुल जुमला 3,65,000 रूपये को कोई अज्ञात चोर द्वारा चोरी कर ले कि प्रार्थी की रिपोर्ट पर अपराध कायम कर विवेचना में लिया गया है कि उक्त थाना कोतवाली अन्य प्रकरण अपराध 40-239/2021 धारा-457, 380 भादंवि एवं अपराध 331/2021 धारा-457, 380 भादंवि आरोपियों की पतासाजी हेतु पुलिस अधीक्षक डी. श्रवण के निर्देशन, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक श्रीमति प्रज्ञा मेश्राम एवं प्रभारी नगर पुलिस अधीक्षक व्हीबी नंद एवं थाना प्रभारी वीरेन्द्र चतुर्वेदी के कुशल नेतृत्व में थाना कोतवाली पुलिस द्वारा लगातार अपराधी पतासाजी पर कार्य कर रही थी।
विवेचना के दौरान के आरोपी मोहम्मद अबू बकर सिद्धीकी उर्फ आकाश यादव पिता हफीज खान उर्फ शंभू यादव उम्र 28 वर्ष साकिन तोषगांव थाना सराईपाली जिला महासमुन्द बताया, जिसे अपराध घटना के संबंध में पूछताछ करने पर प्रारंभ में जानकारी होने से इंकार किया, परंतु हिकमत अमली पूछताछ करने पर उसने राजनांदगांव शहर क्षेत्र में कई जगह चोरी की घटना घटित करना स्वीकार करने पर धारा-27 साक्ष्य अधिनियम के तहत मेमोरेंडम कथन दर्ज किया गया जिसमें उसने उक्त चोरी के अलावा लखोली क्षेत्र में आज दिनांक से लगभग दो माह पूर्व गोविंदा उर्फ अशरफ खान एवं मोहम्मद बाबोल उर्फ बादल राय के साथ तथा धर्मापुर गांव में आज दिनांक से लगभग डेढ़ माह पूर्व मोहम्मद बादौल उर्फ बादल राय एवं सुमन्त खंडोकार के साथ तथा 20-25 दिन पूर्व बर्फानी घाम राजनांदगांव के पीछे कालोनी में गोविंदा उर्फ अशरफ एवं मोहम्मद बादोल उर्फ बादल राय के साथ चोरी करना स्वीकार किया गया एवं अनुपपुर मध्यप्रदेश के ज्वेलर्स विकास सोनी के पास चोरी किये गये चांदी के जेवरात तथा सोने के जेवरात को अब्दुल्लागंज रायसेन मध्यप्रदेश में बिक्री करना बताये। टीम भेजकर अनुपपुर से आरोपी ज्वेलर्स विकास सोनी से एवं उपरोक्त आरोपीगणों से करीबन 800 ग्राम (पौन किलो) चांदी के जेवरात, डेढ़ तोला सोने के जेवरात, एक नग पुरानी इस्तेमाली टच स्कीन मोबाईल एवं तीन मोटर सायकल जुमला कीमती 3,85,000 रूपये बरामद किया जा धुका है।
प्रकरण के अन्य आरोपी ओबेदुल्लागंज जिला रायसेन मध्यप्रदेश के आरोपी सोनार की पता-तलाश हेतु टीम रवाना किया गया था जो आरोपी का पुलिस रिमांड प्राप्त कर आरोपी के निशानदेही पर ओबेदुल्लागंज मध्यप्रदेश जाकर आरोपी ज्वेलर्स दिनेश कुमार सोनी पिता स्व. अनोखी लाल सोनी उम्र 53 वर्ष साकिन मकान नंबर 13 ओबेदुल्लागंज जानकीनगर, थाना ओबेदुल्लागंज जिला रायसेन मध्यप्रदेश के करने से प्रकरण में चोरी गई सोने की जेवरात जिसमें सोने की अंगूठी, कान का झुमका, कान की बाली, मंगलसूत्र, कंगन व झुमका सहित नेकलेस जुमला करीबन 11 तोला कीमती करीबन 5,00,000 रूपये की बरामदगी कर गिरफ्तार कर माननीय न्यायालय राजनांदगांव के समक्ष पेश किया जाकर न्यायिक रिमांड प्राप्त किया गया।
उपरोक्त आरोपी ज्वेलर्स की पतातलाश में थाना कोतवाली प्रभारी वीरेन्द्र चतुर्वेदी, उप निरीक्षक नरेन्द्र कुमार मिश्रा, प्रधान आरक्षक जी सिरिल कुमार, आरक्षक प्रख्यात जैन, आरक्षक महेन्द्र पाल जोशी की भूमिका सराहनीय रही।
राजनांदगांव / शौर्यपथ / भाजपा राष्ट्रीय स्तर पर प्रशिक्षण कार्यक्रम चला रही है, जिसके तहत राज्य व जिले के कार्यकर्ताओं का वर्चुअल माध्यम से ई-चिंतन प्रशिक्षण शिविर प्रत्येक शनिवार से संचालित हो रहा है, जिसके तहत जिले स्तर के कार्यकर्ताओं को राज्य स्तर के वरिष्ठ मार्गदर्शक द्वारा प्रशिक्षण प्रदान किया जा रहा है।
मीडिया सेल द्वारा दी गई जानकारी के अनुसार इसी परिपेक्ष में कृषि क्षेत्र में सुधार व उपलब्धियां विषय पर भाजपा का ई-चिंतन प्रशिक्षण शिविर संपन्न हुआ, जिसमें अध्यक्षता जिला पंचायत उपाध्यक्ष विक्रांत सिंह ने एवं मुख्य वक्ता के रूप में वरिष्ठ भाजपा नेता एवं पूर्व मंत्री प्रेम प्रकाश पांडे थे।
सर्वप्रथम जिला महामंत्री सचिन बघेल ने कार्यक्रम का संचालन करते हुए विक्रांत सिंह को परिचय के लिए आमंत्रित किया। तत्पश्चात एकता अग्रहरी द्वारा एकल गीत का गान संपन्न हुआ। मुख्य वक्ता की आसंदी से पूर्व मंत्री प्रेम प्रकाश पांडे ने कृषि में भारत की संस्कृति पर जिक्र करते हुए कहा कि जमीन से माता सीता के प्रकट होने से लेकर वैज्ञानिकों द्वारा एग्रीकल्चर जिसका अर्थ संस्कृति के लिए हम सहमत हैंए पर अपने विचार रखते हुए प्रेम प्रकाश पांडे ने कहा कि भारतीय संस्कृति में कृषि की विशेष महत्ता है। विगत 70 वर्षों में कृषि के क्षेत्र में कांग्रेस ने कोई ठोस सुधार कार्य नहीं किया, जिसके कारण आज किसान परेशान है। उन्होंने कहा कि एक समय में अमेरिका का लाल गेहूं कर्ज के रूप में मिलने पर मजबूरी में भारतीय उसे खाते थे।
पूर्व मंत्री पांडे ने कहा कि 1960 में स्वामीनाथन कमेटी का जिक्र करते हुए कहा कि हरित क्रांति योजना आने से उत्पादन तो तेजी से बड़ा लेकिन केमिकल फर्टिलाइजर के कारण जमीनों में कीड़े पड़ने लगे फिर कीड़े मारने के लिए जहरीली दवाई का छिड़काव होने लगा जिससे मनुष्य के स्वास्थ्य में विपरीत प्रभाव पड़ने लगा है, आज जमीने खराब होने से उत्पादन प्रभावित हो रहा है। श्री पांडे ने कहा कि पहले मनुष्य कृषि आधारित जीवन से अपना घर भली-भांति चला लेता था, परंतु आज घर चलाना भी मुश्किल हो चुका है, जिसका कारण बताते हुए उन्होंने कहा कि शुरुआत में बैंकों से 17 परसेंट कर्ज में किसान ऋण लेता था बाद में अटल जी ने 7 परसेंट एवं श्री मोदी ने चार परसेंट पर ऋण उपलब्ध करवाया जिससे प्रदेश की भाजपा सरकार में 0 प्रतिशत पर समस्त किसानों को कृषि ऋण उपलब्ध करवाया जिसके कारण किसानों को आसानी ऋण मिलने लगा है। श्री पांडे ने कहा कि केंद्र में बैठी मोदी सरकार ने किसान सम्मान योजना के तहत सभी 43 लाख खातेदार किसानों को 6000 देकर 160000 करोड रुपए किसान सम्मान निधि के तहत किसानों को दे चुके हैं। पूर्व मंत्री पांडे ने कहा कि खाद की कमी कृत्रिम रूप से विपक्षी दलों द्वारा बनाई गई है, यूरिया जो कि पहले सिर्फ को-ऑपरेटिव सोसाइटी में बिकता था उसे प्राइवेट में दे दिया गया जिसके कारण कालाबाजारी बढ़ने लगी।
पूर्व मंत्री पांडे ने कृषि क्षेत्र में सुधार के लिए कृषि कानून पर विस्तार से चर्चा करते हुए कहा कि मंडी को मजबूत करने के साथ ही किसानों के उत्पाद को अधिक मूल्य दिलाने हेतु कॉन्ट्रैक्ट व्यवस्था की गई, जिसमें किसानों के हित में ही सभी निर्णय लिए गए। मार्केटिंग व्यवस्था मजबूत होने से किसानों की आर्थिक स्थिति बढ़ने लगती किसानों को आर्थिक रूप से मजबूत करने के संकल्प को पूरा करने के लिए मोदी सरकार ने किसान रेल के माध्यम से 60 रेलवे लाइन में रेलवे चलाने का निर्णय लिया है जिसके तहत किसानों के उत्पाद एक जगह से दूसरी जगह जाने लगे हैं एवं किसानों को अधिक से अधिक मूल्य मिलने लगा है। भाजपा नेता ने ने बताया कि 2 लाख सत्तर हजार टन रेलवे के माध्यम से किसानों की फसलें भेजी जा चुकी है। डीपीए बढ़ने पर खाद के दाम बढ़ गए जिसके कारण केंद्र सरकार ने 1200 रुपये में मिलने वाली खाद में 500 का सब्सिडी देने का निर्णय लिया, बाद में अंतरराष्ट्रीय मूल्य बढ़ने के कारण 2400 डीपीए के होने पर 1200 रुपये की सब्सिडी केंद्र सरकार दे रही है, जो कि अपने आप में एक कीर्तिमान है। इस सब्सिडी के तहत 1 लाख चालीस हजार करोड़ रुपए हमने दिया है, किसानों का उत्पादन बढ़े और उसे सही मूल्य मिले, ये भाजपा की सोच है, परन्तु विपक्षी दल पुराने ढर्रे पर चलते हुए सिर्फ भाजपा एवं मोदी सरकार को बदनाम करने के लिए करोना जैसी महामारी में भी विपक्षी दलों ने संयम नहीं बरता और जनता की जान बचाने वाली केंद्र सरकार की वैक्सीन को बदनाम करने के लिए तरह-तरह के षड्यंत्र रचे गए। प्रेम प्रकाश पांडे ने कहा कि भाजपा की कृषि बिल को विपक्ष के शरद पवार ने भी समर्थन करते हुए कहा है कि थोड़े बहुत संशोधन के साथ कृषि बिल पास किया जाना चाहिए।
वर्चुअल बैठक में भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह, पूर्व सांसद अभिषेक सिंह सहित भाजपा के सभी वरिष्ठ नेता उपस्थित थे। अंत में प्रशिक्षण सत्र में आभार प्रदर्शन जिला भाजपा अध्यक्ष मधुसूदन यादव ने किया। बैठक में आईटी सेल के संयोजक गिन्नी चावला एवं सूर्यकांत शर्मा ने विशेष तैयारियां की।
० डोंगरगढ़ में माता बम्लेश्वरी मंदिर के लिए गेंदा, गुलाब एवं अन्य फूल की खेती के लिए संयुक्त कार्ययोजना बनाने के दिए निर्देश
० व्यापक पैमाने पर सिलाई, जैविक सुंगधित चावल, चार से चिरौंजी, अगरबत्ती एवं अन्य गतिविधियां संचालित कर मार्केटिंग लिंकेज करें
० जिला जनपद के विकास कार्यों की समीक्षा बैठक आयोजित
राजनांदगांव / शौर्यपथ / कलेक्टर तारन प्रकाश सिन्हा ने कहा कि छोटी सी शुरूआत से असंभव कार्य भी होते हैं। जिले में महिला स्वसहायता समूह की आर्थिक स्थिति को मजबूत बनाने के लिए उन्हें ऐसा उत्पाद बनाने के लिए प्रोत्साहित करें, जिसकी मार्केट में मांग हो। डोंगरगढ़ में माता बम्लेश्वरी के मंदिर में फूल अन्य प्रदेशों से मंगाये जाते हैं। स्वसहायता समूह की महिलाओं को फ्लोरीकल्चर को बढ़ावा देते हुए संयुक्त कार्ययोजना बनाकर उन्हें गेंदा, गुलाब एवं अन्य फूल लगाने के लिए प्रोत्साहित करें। उद्यानिकी, क्रेडा एवं कृषि महाविद्यालय के विशेषज्ञों की मदद से आधुनिक तकनीक का प्रयोग करते हुए पॉलीकल्चर एवं मल्चिंग विधि से अधिक उत्पादन किया जा सकता है। कम स्थान पर अधिकतम उत्पादन के लिए विशेषज्ञों से परामर्श लें एवं इसे राष्ट्रीय स्तर का मॉडल बनाएं। समूह की महिलाओं को मल्टीएक्टीविटी से जोड़कर उनकी आजीविका के लिए मार्केटिंग एजेंट नियुक्त करने की जरूरत है। व्यापक पैमाने पर सिलाई, जैविक सुंगधित चावल, चार से चिरौंजी, अगरबत्ती जैसी गतिविधियां संचालित करें एवं मार्केटिंग लिंकेज करें। वहीं महिलाओं को मत्स्य पालन, मुर्गी पालन, बकरी पालन जैसी गतिविधियों से भी जोड़ें। शासन की ओर से सहायता मिलेगी, लेकिन इस कार्य को पूर्ण करने के लिए इच्छाशक्ति की आवश्यकता है। उक्त बातें उन्होंने जिला जनपद के विकास कार्यों की समीक्षा बैठक के दौरान कही। उन्होंने स्वच्छ भारत मिशन, राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन, के्रडा एवं सीएसईबी के कार्यों की समीक्षा की।
कलेक्टर सिन्हा ने कहा कि महिला स्वसहायता समूह के कार्यों में फर्जीवाड़ा करने पर कार्रवाई की जाएगी। उनकी गतिविधियां सही ढंग से संचालित होनी चाहिए। वनाधिकार पट्टा प्राप्त करने वाले वनवासियों के लिए भी मल्टीएक्टीविटी होनी चाहिए। उन्होंने सीएसईबी के कार्यपालन अभियंता से कहा कि विद्युतविहीन ग्रामों की सूची बनाकर भेंजे एवं गौठानों में विद्युत कनेक्शन देने के लिए निर्देश दिए। के्रडा विभाग के अधिकारियों को जल जीवन मिशन का कार्य निर्धारित समय पर गुणवत्तापूर्ण करने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि सौर सुजला योजना से अधिक से अधिक किसानों को लाभान्वित करें। उन्होंने स्वच्छ भारत मिशन के अंतर्गत बेसलाईन सर्वेक्षण की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि ओडीएफ प्लस के लिए कचरा प्रबंधन एवं तरल एवं ठोस अपशिष्ट प्रबंधन कार्यों को समय पर पूरा करें। जनसामान्य के व्यवहार एवं आदत में यह बात शामिल होना चाहिए। गौठान में गुणवत्तायुक्त कार्य होना चाहिए। कलेक्टर ने सामुदायिक शौचालय निर्माण की प्रगति एवं उपयोग, हाइवे शौचालय निर्माण की प्रगति, व्यक्तिगत शौचालय निर्माण की प्रगति, गोबरधन योजना दिनबंधु मॉडल की प्रगति, गौठान शौचालय निर्माण की प्रगति, सिंगल युज प्लास्टिक बैग की प्रगति, ठोस एवं तरल अपशिष्ट प्रबंधन की प्रगति और बेसलाईन सर्वेक्षण की प्रगति की समीक्षा की। जिला में स्वसहायता समूह का गठन, समूह के बैंक लिंकेज की प्रगति, समूह द्वारा आजीविका गतिविधि संचालन की जानकारी ली।
डीपीएम एनआरएलएम उमेश मिश्रा ने बताया कि जिले में 17 हजार 813 स्वसहायता समूह है। 8 विकासखंडों में संयुक्त कृषि की जा रही है। मानपुर, मोहला, अंबागढ़ चौकी में मुर्गीपालन, बकरी पालन एवं सब्जी उत्पादन का कार्य किया जा रहा है। समूह की महिलाओं द्वारा जैविक खाद उत्पादन, सामुदायिक बाड़ी में सब्जी उत्पादन, चैन वाटर फेसिंग, केचुआ पालन, मछली पालन, सीमेंट पोल निर्माण, गोबर गमला निर्माण, मशरूम उत्पादन, बीज उत्पादन, गेंदा फूल उत्पादन कड़कनाथ मुर्गी पालन, मिनी राईस मिल गतिविधि संचालित है। इस अवसर पर अतिरिक्त सीईओ जिला पंचायत दिलीप कुर्रे, एपीओ जिला पंचायत प्रदीप कुमार सहारे, डीएमएम एनआरएलएम पिनाकी डे सरकार, एपीओ स्वच्छ भारत मिशन बीएल कौशार्य उपस्थित थे। इस दौरान वीडियो कांफे्रसिंग के माध्यम से डीपीएम एनआरएलएम, विकासखंड समन्वयक स्वच्छ भारत मिशन जुड़े।