June 06, 2025
Hindi Hindi
शौर्यपथ

शौर्यपथ

 नई दिल्ली/शौर्यपथ /हरियाणा के पटौदी की एक अदालत ने हत्या के प्रयास के एक मामले में गौरक्षक मोनू मानेसर के खिलाफ नया पेशी वारंट जारी किया है. एक पुलिस अधिकारी ने यह जानकारी दी. मोनू मानेसर अभी नासिर जुनैद हत्याकांड को लेकर राजस्थान में न्यायिक हिरासत में है.
     पहले अदालत ने 25 सितंबर के लिए पेशी वारंट जारी किया था, लेकिन हरियाणा पुलिस ने सोमवार को कहा था कि वह मोनू को राजस्थान से नहीं ला सकती, क्योंकि सुरक्षा एस्कॉर्ट उपलब्ध नहीं हैं. पुलिस ने तब अदालत में नया अनुरोध पेश किया. मानेसर के पुलिस उपायुक्त मनबीर सिंह ने मंगलवार को कहा कि हमें मोनू मानेसर के लिए पेशी वारंट मिला है और हम उसे सात अक्टूबर को लाएंगे. उसे पटौदी की एक अदालत में पेश किया जाएगा.
     बजरंग दल का कार्यकर्ता मोनू मानेसर फिलहाल नासिर और जुनैद के अपहरण एवं हत्या के सिलसिले में अजमेर की उच्च सुरक्षा वाली जेल में बंद है. इन दोनों व्यक्तियों के शव 16 फरवरी को राजस्थान-हरियाणा सीमा पर एक वाहन में मिले थे। उन्हें गौरक्षकों ने कथित रूप से अगवा किया था. उन पर गायों की तस्करी का आरोप लगाया गया था.

   नई दिल्ली /शौर्यपथ /उत्तर प्रदेश में सड़क पर जलजमाव की वजह से एक बच्ची को करंट लगने का एक मामला सामने आया है. हालांकि, बच्ची को स्थानीय लोगों की मदद से बचा लिया गया है. घटना उत्तर प्रदेश के वाराणसी की है. अभी तक की जांच में पता चला है कि वाराणसी में एक बच्ची सड़क से जा रही थी, इसी दौरान बिजली के खंबे के पास से गुजरी और उसे करंट लग गया.
      करंट लगने के बाद वह सड़क पर गिर गई. बच्ची को सड़क पर गिरा देख वहां कुछ बुजुर्ग और स्थानीय लोग आ गए और उन्होंने बच्ची को उठाने की कोशिश. वहां मौजूद एक बुजुर्ग ने जैसे ही बच्ची को उठाना चाहा तो उन्हें भी करंट लगा. इसके बाद वो पीछे हट गए और बच्ची को बचाने के लिए दूसरे तरीकों के बारे में सोचा जाने लगा.
      कुछ सेकेंड बाद एक बुजुर्ग ने बच्ची की तरफ पहले अपना गमछा फेंका लेकिन जब इसके बाद भी वह बच्ची को अपनी तरफ नहीं खींच सके तो उसके बाद पास खड़े एक शख्स ने उन्हें एक डंडा दिया. बुजुर्ग ने इस डंडे को बच्ची की तरफ किया और उससे कहा कि वह इस डंडे को पकड़ ले. एक दो प्रयास के बाद बच्ची ने इस डंडे को पकड़ लिया और फिर बुजुर्ग ने बच्ची को धीरे-धीरे अपनी तरफ खींच लिया.
      बच्ची को करंट लगने और बाद में बुजुर्गें द्वारा उसे बचाए जाने की यह पूरी घटना घटनास्थल के पास लगे सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई. बिजली के खंबे में करंट आने की सूचना बाद में बिजली विभाग को भी दी गई. जिसके बाद बिजली विभाग ने इसे ठीक किया. 

 सेहत टिप्स /शौर्यपथ / आजकल स्क्रीन टाइम बढ़ने के कारण कम उम्र में ही आंखों पर मोटा चश्मा चढ़ जा रहा है. जो लोग वर्किंग हैं उनको 8 से 9 घंटे लैपटॉप की स्क्रीन के सामने गुजारना पड़ता है. ऐसे में इससे निकलने वाली ब्लू रेज आंखों की सेहत पर बुरा असर डालती हैं. इसलिए आप कुछ- कुछ देर में सीट से उठकर टहल लीजिए. ऐसा करने से आपकी आंखो को आराम मिलेगा और खतरनाक ब्लू किरणों का भी असर कम होगा. इसके आलावा यहां पर एक योग मुद्रा के बारे में बताने जा रहे हैं जिसको करने से आंख पर चढ़े चश्मे का नंबर कम हो सकता है.
आंख की रोशनी तेज करने के लिए योग मुद्रा |
प्राण मुद्रा |  
1-यह मुद्रा अगर आप करते हैं तो आपकी आंखो से पावर वाला चश्मा उतर सकता है. इसको करने से आंख की रोशनी तेज होगी साथ ही आंख से जुड़ा रोग भी दूर रहेगा.
2- इस अभ्यास को करने से नाड़ी से जुड़ा रोग दूर रहता है. यह रोग प्रतिरोधक क्षमता  को मजबूत करता है. इससे खून भी साफ होता है. यह शरीर की कमजोरी को भी दूर करता है. यह दिमाग को भी शांत रखता है.  
3- प्राण मुद्रा शरीर में जल, अग्नि और पृथ्वी को संतुलित रखता है. प्राण मुद्रा का ये अभ्यास भूख और प्यास को भी नियंत्रित करने का काम करता है. इस मुद्रा से एकाग्रता भी बढ़ती है. विद्यार्थी वर्ग को यह मुद्रा रोज करनी चाहिए.
कैसे करें प्राण मुद्रा |
    कनिष्ठा, अनामिका और अंगूठे के शीर्ष को मिलाएं. बाकी सभी उंगलियों को सीधी रखें. इसे आप 45 मिनट तक करें हर रोज.

  ब्यूटी टिप्स /शौर्यपथ / आज के समय में बालों का सफेद होना एक ऐसी समस्या बन गई है जिससे बढ़े क्या बच्चे भी जूझ रहे हैं. एक समय बालों का सफेद होना बढ़ती उम्र के लक्षणों में होता था, लेकिन आज के समय में लोगों की लाइफस्टाइल और खानपान की वजह से भी लोगों के बाल तेजी से सफेद होने लग जाते हैं. इनको छिपाने के लिए बाजार में वैसे तो कई तरह के हेयर कलर और डाई मिलते हैं. लेकिन इनको लगाने से बालों को नुकसान भी पहुंच सकता है. क्योंकि इसमें इस्तेमाल किए जाने वाले केमिकल कई बार लोगों को सूट नहीं करते हैं और यह बालों को डैमेज भी कर सकते हैं. इस डर से कई लोग बाजार में मिलने वाले हेयर कलर और डाई का इस्तेमाल नहीं करते हैं. अगर आप भी बालों के सफेद होने से परेशान हैं और उनको नेचुरली काला करना चाहते हैं तो हमारे पास इसके लिए एक देसी नुस्खा है.
          सरसों का तेल बालों के लिए अच्छा होता है. इसमें पाए जाने वाले तत्व बालों को काला, घना, लंबा और मजबूत बनाने में मदद करते थे. पुराने समय में भी हमारी नानी-दादी बालों पर इसी तेल को लगाती थीं. आज हम आपको इस तेल के साथ कुछ चीजों को मिलाकर बनाने का तरीका बताएंगे. ये तेल इतना असरदायी है कि ये आपके बालों को नेचुरली तौर पर काला करने और बालों को मजबूत बनाने में भी मदद करेगा. तो आइए जानते हैं इस तेल को बनाने का तरीका.
इस तेल को बनाने के लिए आपको चाहिए एक कटोरी सरसों का तेल. एलोवेरा की एक पत्ती, मुट्ठी भर एलोवेरा, 2 प्याज मीडियम साइज की, एक मुट्ठी करी पत्ता, 1 चम्मच कलौंजी चाहिए.
          इस तेल को बनाने के लिए एक लोहे की कढ़ाही में सरसों का तेल गर्म करें और उसमें सभी चीजों को मिला कर 10-15 मिनट के लिए गर्म होने दें. फिर उसको लोहे की कढ़ाही में ही ठंडा होने के लिए रख दें. ठंडा होने के बाद तेल को छानकर निकाल लें. अब इस तेल को बालों की जड़ों और स्कैल्प पर लगाकर अच्छे से धीरे-धीरे मसाज करें. बालों की जड़ों से सिरों तक अच्छे से लगाकर छोड़ दें. आप चाहें तो बालों में तेल रातभर के लिए लगा भी रहने दे सकते हैं. या फिर 2 घंटे बाद बालों को धोलें. इस तेल को बनाने में इस्तेमाल की गई चीजें, बालों को काला करने, घना और मजबूत बनाने में मदद करती हैं. बेहतर रिजल्ट के लिए इस तेल को बालों पर हफ्ते में 2 बार लगाएं. आपको कुछ ही दिनो में असर दिखने लगेगा.

    पर्यटन/शौर्यपथ /आज देश भर में विश्व पर्यटन दिवस मनाया जा रहा है. हर साल 27 सितंबर को विश्व पर्यटन दिवस मनाया जाता है. घमने-फिरने के शौकीन लोगों के लिए ये दिन बेहद ही अहम है. असल में टूरिज्म का हमारी देश की अर्थव्यवस्था पर भी खासा असर देखने को मिलता है. किसी भी देश की अर्थव्यवस्था के लिए टूरिज्म एक बहुत बड़ा सेक्टर है. टूरिज्म के जरिए लाखों-करोड़ों लोगों को रोजगार मिलता है और उनका पेट पलता है. आपको बता दें कि वर्ल्ड टूरिज्म डे टूरिज्म के प्रति लोगों को जागरुक करने क लिए मनाया जाता है. साल 1980 से ही विश्व पर्यटन दिवस मनाया जा रहा है. 27 सितंबर 1970 वो दिन था, जब यूनाइटेड नेशंस वर्ल्ड टूरिज्म ऑर्गनाइजेशन के कानूनों को अपनाया गया था.
सामाजिक, सांस्कृतिक, राजनीतिक और आर्थिक मूल्य को समझने के लिए दुनिया भर में वर्ल्ड टूरिज्म डे मनाया जाता है. इस साल वर्ल्ड टूरिज्म डे का मेजबान देश सऊदी अरब है.
अगर आप भी घूमने का शौक रखते हैं और अपने दोस्तों या फैमिली के साथ ट्रिप पर जाने का प्लान बना रहे हैं तो इन जगहों पर जा सकते हैं.
1. नेपाल
      कम पैसों में अगर कहीं जाना चाहते हैं तो नेपाल भारतीय के लिए एक शानदार ऑप्शन हो सकता है. यहां के प्राकृतिक सौन्दर्य, पर्वत, तीर्थ स्थल, फूड और अनुभवों के लिए प्रसिद्ध है. नीचे देखें नेपाल के फेमस व्यंजन.
(I). नेपाली मोमोज-
      नेपाल अपने नेपाली मोमोज़ के लिए काफी फेमस है. नेपाली मोमोज का एक अपना खास स्‍वाद है. अगर आप यहां जाएं तो नेपाली मोमोज जरूर ट्राई करें.
(II). जुजू धाऊ-
     यह एक तरह का दही है जिसे मिट्टी के बर्तन में परोसा जाता है. इसे फुल क्रीम मिल्‍क यानी से तैयार किया जाता है. इसे आप गली नुक्‍कड़ पर आसानी से खरीदकर खा सकते हैं.
2. थाईलैंड
     हर साल अधिकतर भारतीय टूरिस्ट थाईलैंड की यात्रा पर जाते हैं. थाईलैंड घूमने में अधिक पैसे व्यय नहीं करते पड़ते.  विदेश की बजट यात्रा के लिए थाईलैंड एक पॉपुलर प्लेस है, जो टूरिस्ट को अपनी खूबसूरत सौंदर्य, खास खाना, और धार्मिक स्थलों के लिए आकर्षित करता है. नीचे देखें थाईलैंड के पॉपुलर व्यंजन.
(I). थाई क्रंची रोल-
      थाइलैंड के पॉपुलर स्नैक्स में से एक है थाई क्रंची रोल. इसे मशरूम, बेबी कॉर्न बीन्स और कई मसालों के साथ बनाया जाता है.
(II). थाई ग्रीन चिकन करी
     इस चिकन को नारियल के दूध में प्याज, नीबू की पत्तियों, तुलसी की पत्तियों और सुगंधित थाई हरी करी पेस्ट के साथ पकाया जाता है.

 सेहत टिप्स /शौर्यपथ / काजू एक ऐसा ड्राई फ्रूट्स है जिससे कई तरह की रेसिपीज बनाई जा सकती हैं. काजू को कई डिशेज में गार्निशिंग के लिए इस्तेमाल किया जाता है. काजू में मौजूद पोषक तत्व शरीर को कई लाभ पहुंचाने में मदद कर सकते हैं. आपको बता दें कि काजू में फाइबर, मैग्नीशियम, मैंगनीज, प्रोटीन, आयरन, फॉस्फोरस, जिंक, कॉपर, विटामिन के, विटामिन बी6 और थायमिन जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं. जो शरीर को कई समस्याओं से बचाने में मदद कर सकते हैं. लेकिन क्या आप ये जानते हैं कि काजू को दूध में भिगोकर खाने से आपकी सेहत को कई चमत्कारिक लाभ मिल सकते हैं. दूध में भीगे काजू खाने से इम्यूनिटी और हड्डियों को मजबूत बनाया जा सकता है.
दूध में भीगे काजू खाने के फायदे- Cashew Soaked In Milk Overnight Benefits In Hindi:
1. इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए-
  दूध में भीगे काजू का रोजाना सेवन करने से इम्यूनिटी को मजबूत बनाने में मदद मिल सकती है. क्योंकि काजू में विटामिन्स, मिनरल्स जैसे गुण पाए जाते हैं, जो कमजोर इम्यूनिटी को बूस्ट करने में मददगार हैं.
2. वजन बढ़ाने के लिए-
अगर आप दुबले-पतले हैं और वजन को बढ़ाना चाहते हैं तो आपके लिए दूध में भीगे काजू का सेवन फायदेमंद हो सकता है. काजू और फुल फैट दूध में कैलोरी और हेल्दी फैट होता है, जो वजन को बढ़ाने में मदद कर सकता है.
3. हेल्दी स्किन के लिए-
    हेल्दी और सुंदर स्किन भला किसे पसंद नहीं. लेकिन क्या आप ये जानते हैं कि डाइट में काजू को शामिल कर स्किन को हेल्दी रखा जा सकता है. काजू में एंटीऑक्सीडेंट्स काफी अधिक मात्रा में पाए जाते हैं. रोजाना दूध में भीगे काजू खाने से फ्री रेडिकल्स को दूर करने और स्किन को हेल्दी रखने में मदद मिल सकती है.
4. कब्ज की समस्या के लिए-
   कब्ज आज के समय की एक ऐसी समस्या है जिससे हर दिन दो-चार होना पड़ता है. खान-पान में जरा सी लापरवाही कब्ज की समस्या को बढ़ा सकती है. अगर आप कब्ज की समस्या से परेशान हैं तो रोजाना दूध में भीगे काजू का सेवन करने से इस समस्या से छुटकारा मिल सकता है.

  रसोई टिप्स /शौर्यपथ/ इंडियन किचन में मौजूद लहसुन एक ऐसा मसाला है जिसे दाल में तड़का लगाना हो या सब्जी का मसाला तैयार करना, हर चीज में इसे स्वाद और सुंगध के लिए इस्तेमाल किया जाता है. लेकिन लहसुन का सिर्फ इतना ही इस्तेमाल नहीं है. इसे सेहत के लिए भी बेहद गुणकारी माना जाता है. लहसुन  में पाए जाने वाले पोषक तत्व इसे और खास बनाते हैं. लेकिन एक परेशानी लहसुन के साथ जो आती है वो है इसे छिलने में. अगर किचन में समय बिताते हैं तो आपको पता होगा कि इसे छीलना इतना आसान नहीं है. अगर आप भी इस परेशान से जूझ रहे हैं तो हमने आपको कवर किया है. लहसुन छीलने के लिए आप इन ट्रिक्स को अपना कर अपना समय बचा सकते हैं.
यहां हैं लहसुन छीलने के आसान तरीके
1. लहसुन को आप कम समय में इस तरीके से छील सकते हैं-
    सबसे पहले आप लहसुन की एक कली लें. उसे चॉपिंग बोर्ड पर रखें और चाकू से दबा दें.
    आप चाहें तो चाकू के अलावा किसी और चीज से भी हल्के से दबा सकते हैं.
    जब लहसुन दब जाएगा तो इसके छिलके खुद-ब-खुद निकल जाएंगे. बस आपको उसे उठाकर छिलकों को हटाना है.
2. अगर आप ऐसे लहसुन को नहीं छीलना चाहते हैं तो दूसरा तरीका अपना सकते हैं.
  किसी बर्तन में हल्का गुनगुना पानी लेकर उसमें लहसुन की कलियां डाल दें. अब इसमें लहसुन की कलियों को अगले 10 मिनट के लिए छोड़ दें. छिलका थोड़ा साफ हो जाए तो फिर हाथों से रगड़ें, इस तरह बहुत ही  आसानी से आप लहसुन का छिलका निकाल पाएंगे.
  ये लहसुन छीलने का सबसे आसान और सिंपल तरीका है, जिसमें बहुत कम मेहनत और समय लगता है. आप बेलन से जिस तरह रोटी बेलते हैं उसी तरह से लहसुन को भी बेल लें. इससे छिलके खुद-ब-खुद खुल जाएंगे. इसके बाद आप आसानी से लहसुन की कलियों को निकाल सकते हैं.
3. इसके अलावा आप लहसुन को एक और तरीके से छील सकते हैं-
  लहसुन छिलने का सबसे आसान तरीका है कि लहसुन की कली को कुछ सेकंड के लिए माइक्रोवेव में रख दें. और बाहर निकाल कर बड़ी आसानी से आप इन्हें छील सकते हैं.

  आस्था /शौर्यपथ /आपने अक्सर लोगों को पैरों में काला धागा पहने देखा होगा, खासकर लड़कियों को. आपने सोचा है कभी आखिर क्यों इसको पहनते हैं इसके पीछे क्या कारण है. असल में काला रंग गर्मी को अवशोषित कर  नकारात्मक ऊर्जाओं को दूर रखने में ढाल की तरह काम करता है. इसके अलावा काले धागा पहनने के पीछे की क्या मान्यताआर्टिकल में आपको बताने वाले हैं. तो आइए बिना देर किए जानते हैं.
काला धागा पहनने के फायदे
1- मान्यता है कि पैर में काला धागा पहनने से शनि ग्रह दोष दूर होता है और आंख की रोशनी मजबूत होती है. यह जीवन में आने वाली सभी बांधाओं को दूर करता है.
2- इसके अलावा पेट संबंधी परेशानी भी पैर में धागा पहनने से दूर होती है. इससे कब्ज, लूज मोशन जैसी दिक्कते नहीं होती हैं. यह मेटाबॉलिज्म मजबूत करता है.
3- वहीं, हाथ में या फिर कलाई में काला धागा पहनने से सफलता मिलती है. इसके अलावा पेट में पहनने से स्तन, पेट से जुड़ी दिक्कते नहीं होती हैं. यह मोटापे को भी कंट्रोल करता है.
4- इसके अलावा मान्यता है कि काला धागा वाहन पर बांधने से काली नजर दूर रहती है और किसी तरह की दुर्घटना होने का भी डर नहीं रहता है.
5- वहीं, यह भी मान्यता है कि काला धागा मेन गेट पर बांधते हैं तो फिर निगेटिव एनर्जी दूर रहती हैं. घर में सकारात्मता बनी रहती है.  
6- काले धागे को हमेशा 9 गांठ बांधने के बाद ही पहनना चाहिए. इस धागे को बांधने के बाद आप हर दिन गायत्री मंत्र का जाप करें. इससे प्रभाव और बढ़ जाता है.
7-छोटे बच्चे को काला धागा जरूर पहनाना चाहिए. असल में जिन बच्चों की प्रतिरोधक क्षमता बहुत कम होती है, यह धागा उनके शरीर को बीमारियों से लड़ने की ताकत देता है.
8-काला रंग गर्मी को अवशोषित कर लेता है. इसलिए यह नकारात्मक ऊर्जाओं को दूर रखने में ढाल की तरह काम करता है.

    व्रत त्यौहार /शौर्यपथ /हर महीने की त्रयोदशी तिथि पर प्रदोष व्रत रखा जाता है. प्रदोष व्रत में मान्यतानुसार भगवान शिव की पूजा की जाती है. माना जाता है कि जो भक्त प्रदोष व्रत रखते हैं उनपर भोलेनाथ  की कृपादृष्टि पड़ती है और जीवन से कष्ट दूर होकर जीवन सुखमय बनता है. आज 27 सितंबर के दिन बुधवार होने के चलते इस प्रदोष व्रत को बुध प्रदोष व्रत कहा जाता है. बुध प्रदोष व्रत में माना जाता है कि साधक को यश, धन और ऐश्वर्य की प्राप्ति होती है. जानिए इस दिन किस तरह की जा सकती है पूजा.
बुध प्रदोष व्रत की पूजा |
   पंचांग के अनुसार, भाद्रपद माह की त्रयोदशी का प्रदोष व्रत आज 27 सितंबर के दिन रखा जा रहा है. त्रयोदशी तिथि इस बार रात 10 बजकर 18 मिनट से शुरू हो रही है. प्रदोष व्रत की पूजा प्रदोष काल   में की जाती है. आज प्रदोष काल में पूजा का शुभ मुहूर्त शाम 6 बजकर 12 मिनट से रात 8 बजकर 36 मिनट तक है.
  बुध प्रदोष व्रत की पूजा में सुबह उठकर स्नान पश्चात स्वच्छ वस्त्र धारण किए जाते हैं और व्रत का संकल्प लिया जाता है. इस दिन पूजा शाम के समय होती है लेकिन सुबह के समय भी भक्त शिव मंदिर दर्शन करने चले जाते हैं. प्रदोष की पूजा में शिवलिंग पर गंगाजल और दूध से अभिषेक किया जाता है. महादेव के समक्ष भांग, धतूरा, शमी के पत्ते, सफेद फूल, शहद और शक्कर आदि अर्पित करते हैं. इसके अलावा, 'ओम नम: शिवाय' मंत्र का उच्चाकण करना अत्यधिक शुभ माना जाता है. भगवान शिव की आरती की जाती है और भक्त अपनी मनोकामनाएं मांगकर पूजा पूर्ण करते हैं.
कुछ बातों का रंखा जाता है ध्यान
    बुध प्रदोष व्रत में कुछ बातों पर ध्यान दिया जाता है जिनमें से एक यह है कि बुधवार को भगवान गणपति का दिन भी माना जाता है जिस चलते बप्पा की पूजा भी की जा सकती है.
    प्रदोष व्रत रखने वाले भक्त दिनभर निराहार रहते हैं. बहुत से लोग इस दिन निर्जला व्रत भी रखते हैं.
     शिव पार्वती युगल की पूजा करना भी इस दिन अत्यधिक शुभ और महत्वपूर्ण मानी जाती है.

आगामी 3 अक्टूबर को डभरा में आयोजित सम्मेलन के लिए दिया आमंत्रण
  रायपुर/शौर्यपथ / मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल से आज शाम यहां उनके निवास कार्यालय में सौंरा, गोंड़, बिझिया, उरांव, भुंजिया आदि 12 समाज के प्रतिनिधियों ने सौजन्य मुलाकात की। मुख्यमंत्री को प्रतिनिधिमंडल द्वारा विधानसभा क्षेत्र चन्द्रपुर अंतर्गत डभरा में आगामी 3 अक्टूबर को आयोजित होने वाले समाज के सम्मेलन में बतौर मुख्य अतिथि शामिल होने का आमंत्रण दिया गया। मुख्यमंत्री श्री बघेल ने प्रतिनिधिमंडल को सम्मेलन में आमंत्रण के लिए बधाई और शुभकामनाएं देते हुए कहा कि राज्य सरकार अनुसूचित जनजाति समुदाय को उनके अधिकारों का लाभ दिलाने के लिए दृढ़ संकल्पित है।
  मुख्यमंत्री श्री बघेल से मुलाकात के दौरान प्रतिनिधिमंडल ने बताया कि छत्तीसगढ़ की विभिन्न जातियों को अनुसूचित जनजातियों में शामिल किए जाने संबंधित विधेयक पारित होने पर समाज में काफी हर्ष व्याप्त है। इसके तहत मुख्यमंत्री श्री बघेल के प्रति आभार प्रदर्शन के लिए सम्मेलन का आयोजन किया जा रहा है। प्रतिनिधिमंडल ने यह भी अवगत कराया कि मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल द्वारा छत्तीसगढ़ के जाति समुदायों को अनुसूचित जनजाति में शामिल करने के प्रयासों को बड़ी सफलता मिली है।
   मुख्यमंत्री से मुलाकात के दौरान सर्वश्री रोहित सिदार, रवि सिदार, खोलबहरा सिदार, लकेश्वर श्याम, दीनबन्धु, शत्रुघन, अनिल बिंझिया, समारूलाल, सुरेश उरांव, महेश सिदार, टेकलाल, तुलसी केसर, सुरेश बिसेन, संतोष कुमार, युधिष्ठिरराज, नंदलाल, शिवकुमार, सेतकुमार एवं रतन सिदार आदि उपस्थित थे।

हमारा शौर्य

हमारे बारे मे

whatsapp-image-2020-06-03-at-11.08.16-pm.jpeg
 
CHIEF EDITOR -  SHARAD PANSARI
CONTECT NO.  -  8962936808
EMAIL ID         -  shouryapath12@gmail.com
Address           -  SHOURYA NIWAS, SARSWATI GYAN MANDIR SCHOOL, SUBHASH NAGAR, KASARIDIH - DURG ( CHHATTISGARH )
LEGAL ADVISOR - DEEPAK KHOBRAGADE (ADVOCATE)