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राजनांदगांव / शौर्यपथ / जिला भाजपा अध्यक्ष मधुसूदन यादव के नेतृत्व में भाजपा ग्रामीण मंडल ने धीरी समूह नल-जल योजनान्तर्गत आने वाले गांवों को पेयजल व्यवस्था को लेकर जिलाधीश को ज्ञापन सौंपा गया। धीरी समूह नल-जल योजना के अंतर्गत आने वाले 23 गांवों को आगामी ग्रीष्म काल में पेयजल की समस्या का सामना करना पड़ेगा, क्योंकि एनीकट में पानी खत्म हो चुका है तथा मोंगरा बैराज, खरखरा जलाशय से पानी आने की संभावना नहीं है। इस स्थिति में पहले खरखरा जलाशय से पानी छोड़ा जायें, ताकि निस्तारी की व्यवस्था हो सके तथा यथासंभव पेयजल की व्यवस्था हो, मोंगरा बैराज तथा खरखरा जलाशय से पेयजल हेतु पानी तत्काल छोड़ा जायें और यदि पानी पर्याप्त मात्रा में ही पहुंच जाता है, तो लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के पेयजल हेतु तत्काल वैकल्पिक व्यवस्था किया जाए, ताकि गर्मी में इस प्रकार से असुविधा न हों, अन्यथा पानी की समस्या होने पर 23 गांवों के ग्रामीणों द्वारा उग्र आंदोलन हेतु बाध्य होंगें।
ज्ञापन सौंपने के दौरान मुख्य रूप से जिला भाजपा अध्यक्ष मधुसूदन यादव के साथ रोहित चंद्राकर, कृष्णा तिवारी, मनोज साहू, हेमंत साहू, महेश साहू, जितेंद्र साहू, खिलेश्वर साहू, हेमंत साहू, अजय साहू, जगदेव साहू, चंद्रशेखर बंजारे, लीलाधर साहू, खेम दास साहू, पुष्पा उईके, मोती देवांगन, पुष्पा गायकवाड, कमल सोनी जिला भाजपा सोशल मीडिया प्रभारी सहित भाजपा ग्रामीण मंडल के कार्यकर्ता उपस्थित थे।
राजनांदगांव / शौर्यपथ / जिला कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता रुपेश दुबे ने अन्य जिले की घटना पर भाजपाइयों के प्रदर्शन को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि भाजपाई परिवार के प्रति सहानुभूति जताने के बजाय मौत पर राजनीति करने की अपनी फितरत से बाज नहीं आ रहे है। भाजपा को राज्य सरकार के जांच पर तो भरोसा तो छोड़ अपने विधायकों के दल पर भी भरोसा नहीं तभी अपने अनुसूचित जाति मोर्चा का दल भी मृतक गांव भेज कर अपनी सत्ता व संगठन में फूट का प्रमाण दिया है। प्रदर्शनकारी भाजपाई छग में अपने दल के सत्ता के कार्यकाल को याद करे तो वे शर्म से सामना करेंगे। पूरे देश की मानवता को झकझोरने वाली हाथरस की घटना जिसमें सीधे भाजपा राज्य की पुलिस व सरकार के आतंक से अनुसूचित जाति वर्ग की मृतका की लाश के साथ की गई बर्बरता को पूरा देश देखा तब इन भाजपाइयों के मुंह मे दही जमा था क्या।
छग सरकार पुलिस शिकायत व महिला आयोग में शिकायत हेतु मोबाइल नंबर सार्वजनिक कर कार्यवाही प्रारंभ कर दी है और इस मामले की सभी पहलुओं पर गंभीरता से जांच करा रही है और जांच को प्रभावित करने भाजपाई मौत पर राजनीति कर कोरोना के बढ़ते दौर में कानून व्यवस्था को बिगाड़ रहे है।
राजनांदगांव /शौर्यपथ / जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, राजनांदगांव के मार्गदर्शन में जन कल्याण सामाजिक संस्थान द्वारा कासा रायपुर के सहयोग से अंर्तराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर सम्मान समारोह का आयोजन मोहला विकासखंड के गोटाटोला ग्राम के मंगलभवन में आयोजित किया गया। कार्यक्रम की मुख्य अतिथि डॉ. प्रझा पचौरी, प्रधान न्यायधीश, कुटुम्ब न्यायालय, राजनांदगांव ने इस अवसर पर पर महिला अधिकार एवं समानता पर जोर देते हुए कहा कि महिला दिवस आज से 113 साल पहले 1908 में शुरू हुआ था, महिलाओं को न बोलने का अधिकार था ना वोट डालने का। वोट डालने का अधिकार स्वीडन से शुरू हुआ, रही अत्याचार की बात तो अत्याचार तो घरों में ही होते है अत्याचार करने वाले हमारे परिवार के ही लोग होते है, बाहरी व्यक्ति हमें कुछ कह सकता है? नहीं कह सकता। कोई ऊपर या नीचे नहीं है आप सभी बराबर है ईश्वर ने हम सभी को बराबर पैदा किया है बटवारा हम सब ने किया नीचे आके। हमेशा अपने लिए लडिये, लड़ने का मतलब मारपीट करना नहीं है, अच्छे से लड़िये प्यार से लड़िये अपने अधिकार के लिए लड़िये। यदि प्यार से बात नही बनती तो कोर्ट का दरवाजा आपके लिए खुला है। प्राधिकरण आपको मदद करने हमेशा तैयार है।
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे प्रवीण मिश्रा, सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, राजनांदगांव द्वारा प्राधिकरण के माध्यम से किये जा रहे कार्यो की विस्तृत जानकारी प्रदान की गई। महिलाओं के अधिकार एवं संरक्षण से संबंधित घरेलु हिंसा कानून के तहत हमर अंगना कार्यक्रम के विषय मे बताया गया। विशेष अतिथि अमलेन्दु हाजरा ने बेटी-बचाओं, बेटी-पढ़ओं एवं दहेज प्रतिशेध अधिनियम के विषय में उपस्थित महिलाओं को विस्तार से जानकारी दी।
जन कल्याण सामाजिक संस्थान के निदेशक योगेन्द्र प्रताप सिंह ने बताया कि महिला दिवस तभी सफल हो पायेगा जब महिलाएं अपने अधिकारों को जाने एवं उन अधिकारों को प्राप्त करने के लिए प्रयास करें एवं सजग रहे। अक्सर कार्यक्रमों के समापन के पश्चात हम आगे की रणनीति पर कार्य नहीं कर पाते, जिससे दिवस मात्र एक कार्यक्रम की औपचारिकता रह जाता है, जिससे वास्तविक परिणाम की प्राप्ति नहीं हो पाती। हम चाहते है कि इस कार्यक्रम के बाद सभी महिलाएं अपने अधिकारों को जाने, समझे एवं अवसर मिलने पर कोर्ट या जिला विधिक सेवा प्राधिकरण से सहायता अवश्य ले, इस कार्य में हमारी संस्था आपकों हर स्तर पर सहयोग प्रदान करने के लिए सदैव तत्पर है। शिक्षा, स्वास्थ्य एवं स्वच्छता में कार्य करने वाली महिलाओं में श्रीमती अमिला बाई, श्रीमती संजूलता बाई, श्रीमती माधुरी देवांगन, श्रीमती सत्यवती, एवं श्रीमती मालती बाई को माननीय न्यायाधीश द्वारा प्रतीक चिन्ह प्रदान कर सम्मानित किया गया।
इसके उपरांत महिलाएं जाने हमारा हक एवं कानून किताब का डॉ. प्रज्ञा चौधरी, एवं प्रवीण मिश्रा द्वारा विमोचन किया गया। संस्था के निदेशक योगेन्द्र प्रताप सिंह द्वारा उपस्थित मुख्य अतिथियों को प्रतीक चिन्ह प्रदान किया गया। कार्यक्रम का संचालन संस्था के डीआरपी जितेन्द्र जंघेल द्वारा किया गया। कार्यक्रम में ग्राम पंचायत की सरपंच श्रीमती शांता कलामे, संस्था के सदस्य शाश्वत झा, चंद्रप्रकाश साहू, किशन साहू, एव ग्रामीण महिलाएं उपस्थित थी।
राजनांदगांव / शौर्यपथ / हिन्दू युवा मँच जिला इकाई राजनांदगाँव ने रानी सागर तालाब के पूर्वी छोर में राहगीरों की सुरक्षा के दृष्टिकोण से रेलिंग्स अथवा दीवार बनाने की मांग महापौर हेमा देशमुख और नगर निगम के आयुक्त डॉ. आशुतोष चतुर्वेदी से की है।
उक्ताशय की जानकारी देते हुए हिन्दू युवा मंच के जिलाध्यक्ष किशोर माहेश्वरी ने बताया किए रानी सागर तालाब के पूर्वी छोर पर दिग्विजय कॉलेज स्थित दरगाह से लगे पूर्वी किनारे पर किसी भी प्रकार की रेलिंग या दीवार नही बनाई गई है। जिसके कारण रास्ते से गुजरने वाले राहगीरों को आगे रास्ता होने, भ्रम की स्थिति बनी रहती है और खतरे का अंदेशा लगातार बना रहता है। क्या पता कब किस दिन कोई अनहोनी घट जाए और किसी प्रकार की हताहत हो जाये। आगे सड़क नहीं तालाब है यह बताने किसी भी प्रकार का दिशा सूचक या बोर्ड भी नहीं लगाया गया है। जिसके कारण तेज रफ्तार से गुजरने वाले वाहन किसी प्रकार की दीवार, रेलिंग्स या अवरोध न होने की वजह से सीधे तालाब में गिर सकते हैं और उनकी इस हादसे में जान भी जा सकती है। रात्रि के समय तो स्थिति और भी ज्यादा चिंताजनक इसलिए हो सकती है। क्योंकि दिन की तुलना में रात्रि में दृश्य साफ तौर पर दिखाई नहीं देता, अंधेरे की वजह से आगे रास्ता होने जैसी भ्रम की स्थिति पैदा हो सकती है और राहगीर तालाब में गिर सकते हैं।
वहीं रात्रि के समय लोग नशे में भी रहते हैं, जब होश में रहते हुए दुर्घटना की स्थिति बनने लगी है, तब नशे की स्थिति में किसी दुर्घटना घट जाना स्वाभाविक है। उक्त सड़क से गुजरने वाले राहगीरों की सुरक्षा का ध्यान रखते हुए तालाब के पूर्वी किनारे पर रेलिंग्स या दीवार खड़ी करने हिन्दू युवा मंच जिला इकाई ने महापौर हेमा देशमुख और नगर निगम आयुक्त डॉ. आशुतोष चतुर्वेदी से की है। गौरतलब हो कि, लोकहित की इस मांग पर महापौर हेमा देशमुख ने तत्काल कार्यवाही करते हुए उक्त दुर्घटनाजन्य क्षेत्र में तत्काल रेलिंग्स लगाने के आदेश संबंधित अधिकारियों को दिए हैं।
ज्ञापन सौंपने हिन्दू युवा मंच के जिलाध्यक्ष किशोर माहेश्वरी, जिला उपाध्यक्ष अंकित खंडेलवाल, शहर संयोजक राजा ताम्रकार, जिला सह संयोजक तोमेश साहू, जिला प्रचार प्रमुख ढ़ालेश वैष्णव, शहर सह संयोजक मिहिर श्रीवास, दिव्यांग मिश्रा, अभिषेक शर्मा, आर्यन सोनवानी, शहर मंत्री जीत कुंवर लहरे, अजय साहू, रॉकी खोब्रागढ़े एवं रवि साहू सहित हिन्दू युवा मंच के सदस्य एवं पदाधिकारी बड़ी संख्या में उपस्थित थे।
सेहत /शौर्यपथ / काले रंग के अंगूर स्वाद में तो मीठे होते ही हैं, सेहत के लिए किसी वरदान से कम नहीं होते हैं। अंगूर में मौजूद ग्लूकोज, मैग्नीशियम और साइट्रिक एसिड जैसे कई पोषक तत्व व्यक्ति को कई बीमारियों से दूर रखने में मदद करते हैं। काले अंगूर का नियमित सेवन न सिर्फ आपके मोटापे को कम करने में बल्कि डायबिटीज, ब्लड प्रेशर, दिल की बीमारियां, त्वचा और बालों से जुड़ी समस्याएं भी दूर करने में मदद कर सकता है। आइए जानते हैं काले अंगूर का सेवन करने के ऐसे ही कुछ अनगिनत फायदों के बारे में।
वजन घटाने में करता है मदद-
काले अंगूर का सेवन करने से वजन कम करने में मदद मिलती है। मोटापा कम करने की इच्छा रखने वाले लोगों तो काले अंगूर का सेवन जरूर करना चाहिए। यह खून में कोलेस्ट्रॉल निर्माण को रोककर मोटापे जैसी अन्य स्वास्थ्य समस्याओं से भी बचाता है।
याददाश्त करता है बेहतर-
काले अंगूर का सेवन करने से व्यक्ति की एकाग्रता और याददाश्त भी बढ़ती है। इतना ही नहीं काले अंगूर खाने से दिमागी गतिविधियां ठीक होकर माइग्रेन जैसी बीमारी से भी निजात मिल सकती है।
डायबिटीज मरीजों के लिए फायदेमंद-
काले अंगूरों का सेवन करने से डायबिटीज को ठीक करने में भी मदद मिल सकती है। काले अंगूरों में रेसवार्टल नाम का पदार्थ मौजूद होता है जो खून में इंसुलिन का स्तर बढ़ाकर शरीर में शुगर की मात्रा को संतुलित रखने में मदद करता है।
बालों के लिए सेहतमंद-
बालों से जुड़ी कोई भी समस्या है तो आप काले अंगूर का सेवन करें। इसमें पाए जाने वाला विटामिन ई बालों की सेहत के लिए बेहद फायदेमंद होता है। काले अंगूर में मौजूद विटामिन ई बालों से जुड़ी परेशानियां जैसे-रूसी, बालों का गिरना या सफेद होना ठीक करता है। इसका सेवन करने से स्कैल्प को मजबूती मिलती है और बाल घने, मुलायम और मजबूत बनते हैं।
इंफेक्शन से रखें दूर-
काले अंगूर में मौजूद रेसवेरॉटल बैक्टीरिया और फंगस को मारने में मदद करता है, जो शरीर में पहुंचकर किसी भी तरह का इंफेक्शन पैदा कर सकते हैं। ये पोलिया और हर्प्स जैसी बीमारियों से लड़ने में मदद करता है। काले अंगूरों में वायरस से लड़ने की भी क्षमता होती है। ये फेफड़ों में नमी बढ़ा कर अस्थमा भी ठीक कर सकता है।
Disclaimer- इस आलेख में दी गई जानकारी की सटीकता, समयबद्धता और वास्तविकता सुनिश्चित करने का हर सम्भव प्रयास किया गया है हालांकि इसकी नैतिक जि़म्मेदारी लाइव हिन्दुस्तान डॉट कॉम की नहीं है। हमारा आपसे विनम्र निवेदन है कि किसी भी उपाय को आजमाने से पहले अपने चिकित्सक से अवश्य संपर्क करें। हमारा उद्देश्य आपको जानकारी मुहैया कराना मात्र है।
नई दिल्ली / शौर्यपथ / टीवी धारावाहिक 'रामायण' में भगवान राम की भूमिका निभाने वाले अभिनेता अरुण गोविल ने गुरुवार को भारतीय जनता पार्टी का दामन थाम लिया. राजधानी स्थित भाजपा मुख्यालय में गोविल ने संवाददाता सम्मेलन में पार्टी महासचिव अरुण सिंह की मौजूदगी में भाजपा की सदस्यता ग्रहण की. बीजेपी ने साफ किया है कि अरुण गोविल चुनाव नहीं लड़ेंगे लेकिन पार्टी के लिए प्रचार करेंगे. अपनी पहली प्रेस कॉन्फ्रेंस में गोविल ने कहा कि 'जय श्रीराम' कहने में कुछ भी गलत नहीं है. यह 'नारा' पश्चिम बंगाल में बीजेपी की पहचान बन गया है जहां बीजेपी पहली बार सरकार बनाने की उम्मीद लगाए हुए है.
वर्ष 2019 के लोकसभा चुनाव में बीजेपी ने तृणमूल कांग्रेस के खिलाफ इस 'नारे' का इस्तेमाल किया था. बीजेपी ने पश्चिम बंगाल की 42 लोकसभा सीटों में से 18 में जीत हासिल की थी. टीवी सीरियल रामायण के अलावा, 63 वर्षीय अरुण गोविल कई हिंदी, भोजपुरी, उडि़या और तेलुगु फिल्मों में भी काम कर चुके हैं. उन्होंने कई फिल्मों में सहायक रोल निभाए हैं लेकिन उन्हें खास पहचान टीवी सीरियल 'रामायण' में निभाए भगवान राम के रोल से ही मिली.मजे की बात यह है कि अपनी लोकप्रियता के शीर्ष समय में, 80 के दशक में अरुण गोविल कांग्रेस पार्टी का समर्थन कर चुके हैं. भाजपा ने उस समय रामायण सीरियल के रावण (अरविंद त्रिवेदी) और सीता (दीपिका चिखालिया) को टिकट दिया था, दोनों बाद में सांसद बने थे.
इस मौके पर अरुण सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री की नीतियों से प्रभावित होकर और अयोध्या में भगवान राम का भव्य मंदिर बनने के मद्देनजर गोविल ने बीजेपी में शामिल होने का फैसला किया है. उन्होंने कहा, ‘‘अरुण गोविल जी का जीवन गैरविवादित रहा है. हम बीजेपी में उनका स्वागत करते हैं.''
नवागढ़ / शौर्यपथ / नवागढ़ क्षेत्र का एकमात्र महाविद्यालय में छात्र एवं छात्राएं को कमरों औऱ बुनियादी सुविधाओं के अभाव में पढ़ाई करने को मजबूर होना पड़ रहा है। शासकीय कोदुराम दलित महाविद्यालय में विभिन्न विषयों के 1300 नियमित विद्यार्थियों की मात्र 9 कमरें के कॉलेज में पढ़ाई करना पड़ रहा है। महाविद्यालय प्रबंधन कक्षाओं की कमी के चलते शिफ्ट लगाकर विषयों को पूर्ण करा रही है। उल्लेखनीय है कि सन 1989 से संचालित शासकीय कोदूराम दलित महाविद्यालय को नवीन भवन 2004 में मिला था। तब के विद्यार्थियों के पर्याप्त कमरे थे लेकिन समय के साथ सीटे बड़ी- कक्षाएं बढ़ी और विद्यार्थियों की संख्या भी बड़ी लेकिन भवन में कमरों की संख्या यथावत है। जिसकी दिक़्क़तों का सामना महाविद्यालय प्रबंधन के साथ छात्रों को भी करना पड़ा रहा है। व्यवस्था के लिए महाविद्यालय के स्टफ रूम,स्टोर रूम एवं बरामदा आदि में कक्षाए संचालित हो रही है।
बीए की कक्षाओं के साथ प्रारम्भ हुए महाविद्यालय में समय समय पर अलग-अलग विषयों की पढ़ाई बढ़ती चली गई। यहाँ एमए हिंदी साहित्य, समाजशास्त्र भी शुरू हुए। सन 2016 अगस्त में महाविद्यालय में विज्ञान संकाय प्रारम्भ हुआ था, जिसके पांच साल बीत जाने के बाद भी अभी तक विज्ञान संकाय हेतु कोई अतिरिक्त कक्ष का निर्माण नही हुआ है। वही इस वर्ष एमए राजनीति विज्ञान की भी कक्षा लग रही है, जो कि बरामदों में लगाया जा रहा है।
केवल एक सभाकक्ष एवं प्रयोगशाला का निर्माण हुआ
नवागढ़ कालेज में केवल दो अतिरिक्त कमरों का निर्माण हुआ है। जिसमें यूजीसी मद से सभाकक्ष बना है जिसमें फिलहाल बीए की कक्षाएं लगती है। वही विधायक मद से प्रयोगशाला का बनाया गया है जिसमें विज्ञान संकाय की कक्षा लग रही है। एमए के छात्र हीरामणि मानिकपुर ने कहा कि जहां से छात्र अपना भविष्य तय करते है वहा बुनियादी सुविधाओं की कमी होना दुखद है। महाविद्यालय में अतिरिक्त भवन की मांग कब से उठ रही है, शासन को इस पर धयान देना चाहिए।
प्रयोगशाला एवं अतिरिक्त भवन की सख्त जरूत
नवागढ़ महाविद्यालय में विभिन्न विषयों के 5 प्रयोगशाला कक्ष, बीएम,एम ए, बीएससी आदि की कक्षाओं के लिए 18 कमरें, 2 अतिरिक्त कक्ष एवं स्टाफरूम को आवश्यकता है। यदि महाविद्यालय के इस प्रमुख समस्य की ओर जल्द ध्यान नही दिया जाता है तो आगामी सत्रों में परेशानियां में इजाफा होते जाएगा।
11 स्वीकृत पदों में केवल 3 नियमित व्याख्याता
महाविद्यालय में 11 व्याख्याताओ के लिए पद स्वीकृत है परंतु केवल 3 ही व्याख्याता कला संकाय के नियमित है, बाकी कक्षाओं बतौर अतिथि व्याख्याता शिक्षण दे रहे है। नवागढ़ कालेज में रसायन,भौतिकी,वनस्पति विज्ञान, प्राणी विज्ञान एवं गणित जैसे प्रमुख विषयो की कक्षाएं आजतक अथिति व्याख्यातो के भरोसे ही चल रही है। नियमित और विशिष्ठ व्याख्याताओ की कमी में शिक्षण में गुणवत्ता आ पाना कठिन है।
बीकॉम के छात्र बाहर जाने को मजबूर
पूरे नवागढ़ ब्लॉक में यह एकमात्र महाविद्यालय है,परन्तु यहाँ भी बी कॉम संकाय की कक्षाओं के संचालन की अनुमति अभी तक नही मिल पाई है,वही जनप्रतिनिधियों ने भी इस विषय पर कोई विशेष रुचि नही दिखाई है।आलम यह है कि प्रतिवर्ष पूरे ब्लॉक के लगभग 500 से भी कही अधिक कॉमर्स से बारवी उत्तीर्ण कर छात्रों को स्नातक की पढ़ाई के लिए बेमेतरा, मुंगेली,रायपुर, बिलासपुर आदि की ओर जाना पड़ता है। जो शहरों का खर्च वहन कर पाते है उनके लिए तो ठीक है परन्तु गरीब परिवार के छात्रों को या तो कॉमर्स छोड़ आर्ट से स्नातक करना होता है अथवा पढ़ाई को पूर्ण विराम।
सीधी बात
डॉ प्रेमलता मिश्रा
प्रभारी प्राचार्य, शासकीय कोदुराम दलित महाविद्यालय नवागढ़।
1. कमरों के कमी के बीच कक्षाएं कैसे लगती है?
- महाविद्यालय में कमरे की कमी की गम्भीर समस्या है, फिलहाल शिफ्ट सिस्टम एवं सभाकक्ष व बरामदों में कक्षाएं लगाकर पढ़ाई पूर्ण कराई जा रही है।
2. अतरिक्त भवन के लिए महाविद्यालय प्रबंधन के क्या प्रयास किये?
- महाविद्यालय से प्रतिवर्ष अतिरिक्त भवन की मांग का प्रस्ताव उच्च कार्यालय में भेजा जाता है, लेकिन अभी तक कोई स्वीकृति नही मिली है।
3. क्या आने वाले समय में स्थिति और भी गम्भीर होगी ?
- हाँ, विद्यार्थियों की संख्या सत्र दर सत्र बढ़ते जा रही है, जल्द अतिरिक्त भवन नही बना तो दिक्कतें बढ़ेंगी।
नई दिल्ली / शौर्यपथ / मशहूर अर्थशास्त्री अरविंद सुब्रमणियन ने सोनीपत (हरियाणा) में अशोका यूनिवर्सिटी के प्रोफेसर के पद से इस्तीफा दे दिया है. राजनीतिक विश्लेषक प्रताप भानु मेहता के इस संस्थान से निकलने के दो दिन बाद ही उन्होंने यह कदम उठाया है. यूनिवर्सिटी के एक वरिष्ठ प्राध्यापक ने कहा, ‘‘डॉ. सुब्रमणियन ने इस्तीफा दे दिया है.'' वित्त मंत्रालय में पूर्व में मुख्य आर्थिक सलाहकार रहे सुब्रमणियन ने जुलाई 2020 में इस संस्थान में अर्थशास्त्र विभाग में प्रोफेसर के तौर पर काम शुरू किया था. इस संबंध में अशोका यूनिवर्सिटी ने भेजे गए सवालों का जवाब नहीं दिया.
गौरतलब है कि सुब्रमणियन को वित्त मंत्रालय में 16 अक्टूबर 2014 को साल के लिये मुख्य आर्थिक सलाहकार नियुक्त किया गया था और 2017 में उन्हें कार्य विस्तार भी दिया गया था. उनका कार्यकाल मई 2019 तक के लिये बढ़ाया गया था लेकिन उन्होंने अपने अध्यापन कार्य से फिर जुड़ने के लिए आर्थिक सलाहकार का पद छोड़ दिया था.
नई दिल्ली / शौर्यपथ / रीवा कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलनरत किसानों ने मानो ये तय कर लिया है कि वे धरनास्थल पर अपनी पूरी जिंदगी बिताने को तैयार हैं, लेकिन पीछे नहीं हटेंगे. एक ओर सिंघु-टीकरी बॉर्डर पर किसान पक्के मकान बना रहे हैं. वहीं मध्य प्रदेश के रीवा जिले की मंडी में 75 दिनों से आंदोलन में शामिल एक शख्स ने वहीं धरनास्थल पर शादी रचाई और फिर विवाह में जो भी तोहफा मिला, उसे किसान भाइयों के नाम कर दिया.
रीवा की इस मंडी में बराती और घराती सबने साथ मिलकर खाना खाया, लेकिन वो गिफ्ट दूल्हा-दुल्हन ने धरना प्रदर्शन करने वालों को सौंप दिए. दोनों ने संविधान की शपथ ली और संविधान निर्माता डॉक्टर भीमराव अंबेडकर और शिक्षा की देवी सावित्रीबाई फुले की प्रतिमा के फेरे लेकर शादी रचाई.किसान बिल के विरोध में दिल्ली आंदोलन के समर्थन में करहिया मंडी रीवा में 75वें दिन संयुक्त किसान मोर्चा के कोषाध्यक्ष मध्य प्रदेश किसान सभा के महासचिव रामजीत सिंह ने ये ऐतिहासिक कदम उठाया.
उन्होंने धरनास्थल करहिया मंडी रीवा से अपने पुत्र सचिन सिंह निवासी बिहरा का वैवाहिक संस्कार करने का निर्णय लिया. जहां विष्णुकांत सिंह निवासी छिरहटा की पुत्री आसमा सिंह के साथ संयुक्त किसान मोर्चा के बैनर तले संविधान की शपथ दिलाकर वैवाहिक संस्कार संपन्न कराया गया. शादी के बाद दूल्हा-दुल्हन ने प्रबल इच्छा जाहिर की थी कि धरना स्थल से ही शादी करेंगे. लड़के के पिता रामजीत सिंह का कहना है कि हम इस आयोजन से सरकार को यह संदेश देना चाहते हैं कि बिना बिल वापसी आंदोलन से नहीं हटेंगे, डटे रहेंगे और जो भी किसानों के पारिवारिक कार्यक्रम होंगे, वे सभी धरनास्थल से ही होंगे.
रामजीत ने कहा, हम यह भी संदेश देना चाहते हैं कि सरकार से तो लड़ ही रहे हैं साथ ही कुरीतियों से भी हमें लड़ना है. कुरीतियों से भारतीय समाज का व्यापक नुकसान हो रहा है. रामजीत ने कहा कि हम यह भी संदेश देना चाहते हैं कि संविधान की मंशा अनुरूप सबको अपना मनपसंद हमसफर चुनने की स्वतंत्रता है क्योंकि जहां बीजेपी की सरकारें हैं, वहां लगातार संविधान एवं स्वतंत्रता पर हमले हो रहे हैं.
शादी में वर वधु को भेंट स्वरूप जो राशि प्राप्त हुई है, वह आगे आंदोलन चलाने में उपयोग की जाएगी, संयुक्त किसान मोर्चा के पदाधिकारी किसान समाजसेवी बुद्धिजीवी जन संगठनों के प्रमुख महिलाएं एवं वर-वधू पक्ष के सम्मानित व्यक्ति उपस्थित होकर वर वधू को आशीर्वाद दिया. उन्हें भारतीय संविधान की प्रति भेंट की गई.
नई दिल्ली / शौर्यपथ / पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस प्रमुख ममता बनर्जी ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को चिट्ठी लिखकर दिल्ली सरकार की शक्तियां कम करने के प्रयासों के खिलाफ उनके संघर्ष का समर्थन किया है. ममता बनर्जी ने कहा, आपका संघर्ष, मेरा संघर्ष है.
ममता बनर्जी ने कहा, मैं और मेरी पार्टी पूरी तरह से आपके साथ हैं. केंद्र सरकार का कदम मुख्यमंत्री के स्तर को घटाने वाला, संविधान और लोकतंत्र विरोधी है.लोकसभा में पेश किया गया GNCTD संशोधन बिल 2021 भारतीय लोकतंत्र के संघीय ढांचे पर सर्जिकल स्ट्राइक है. केंद्र सरकार का यह कदम लोकतंत्र का मजाक उड़ाने वाला है.
ममता ने लिखा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह आम आदमी पार्टी के हाथों 2014 और 2019 में हुई अपमानजनक हार को पचा नहीं पाए हैं. ये लोग परोक्ष रूप से दिल्ली में सरकार चलाना चाहते हैं और यही GNCTD कानून में प्रस्तावित संशोधन का असली मकसद है. ममता ने कहा कि जो बीजेपी कर रही है वह कोई नई चीज नहीं है राज्य दर राज्य हर नॉन बीजेपी राज्य में यह किया जा रहा है.
पश्चिम बंगाल सहित कई राज्यों में राज्यपाल बीजेपी के पदाधिकारियों की तरह काम कर रहे हैं ना कि एक तटस्थ संवैधानिक संरक्षक की तरह. टीएमसी सुप्रीमो ने कहा कि समय आ गया है कि बीजेपी के लोकतंत्र और लोकतंत्र पर इस तरह के हमलों के खिलाफ एकजुट हुआ जाए और लड़ा जाए खासतौर से एक राज्य सरकार को महज म्युनिसिपालिटी में तब्दील करने की कार्यवाही के खिलाफ.