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नई दिल्ली/शौर्यपथ / रेलवे ने इस बात से इनकार किया कि विभिन्न ट्रेनों से भोजन यान को हटा कर उनके स्थान पर वातानुकूलित 3-टियर डिब्बे लगाए जा रहे हैं. रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने शुक्रवार को एक सवाल के लिखित जवाब में राज्यसभा को यह जानकारी दी. उनसे पूछा गया था कि क्या सरकार 300 से अधिक रेलगाड़ियों से भोजन यान को हटा कर उन्हें वातानुकूलित 3-टियर डिब्बों से बदल रही है.वैष्णव ने इसके जवाब में कहा, 'जी नहीं. ऐसा कोई निर्णय नहीं लिया गया है.'
इसके साथ ही उन्होंने कहा कि मौजूदा वैश्विक महामारी कोविड-19 को देखते हुए कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए वातानुकूलित डिब्बों में लिनेन सेट (चादर आदि) मुहैया नहीं कराए जा रहे हैं. उन्होंने कहा कि हालांकि विभिन्न रेलवे स्टेशनों पर बहुउद्देशीय स्टॉल के माध्यम से ‘बेडरोल' आदि बिक्री के लिए उपलब्ध कराए गए हैं.रेल मंत्री ने एक अन्य सवाल के जवाब में कहा कि इंडियन रेलवे स्टेशन डेवलपमेंट कॉरपोरेशन लिमिटेड (आईआरएसडीसी) ने अमृतसर रेलवे स्टेशन के पुनर्विकास की योजना बनाई है. अमृतसर स्टेशन के पुनर्विकास के लिए अर्हता अनुरोध (आरएफक्यू) को अंतिम रूप दे दिया गया है.
उन्होंने कहा कि कोविड-19 महामारी को रोकने के लिए, रेलवे ने 23 मार्च, 2020 से सभी पैसेंजर रेलगाड़ियों को बंद कर दिया है. वर्तमान स्थिति में राज्य सरकार के सुझावों और चिंताओं तथा स्वास्थ्य परामर्श को ध्यान में रखते हुए सीमित ठहरावों के साथ सिर्फ स्पेशल रेलगाड़ियां ही चलाई जा रही हैं.
वैष्णव ने कहा कि एक अगस्त 2021 तक भारतीय रेल ने दैनिक औसत आधार पर 6166 स्पेशल रेलगाड़ी सेवाओं का परिचालन किया है जिनमें 1517 मेल व एक्सप्रेस रेलगाड़ियां तथा 846 पैसेंजर रेलगाड़ियां शामिल हैं. उन्होंने कहा कि भारतीय रेल वर्तमान स्थिति पर कड़ी नजर रख रही है और तदनुसार गाड़ी सेवाओं के परिचालन को विनियमित कर रही है.
नई दिल्ली/ शौर्यपथ / सुप्रीम कोर्ट ने विभिन्न ट्रिब्यूनलों में सदस्यों की नियुक्ति में देरी पर केंद्र सरकारको फटकार लगाई है. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि ये दुखद स्थिति है. इसके साथ ही कोर्ट ने केंद्र से पूछा कि क्या वह सभी ट्रिब्यूनलों को बंद करना चाहता है? बार- बार अदालत ने आदेश दिए हैं लेकिन कुछ नहीं हुआ.इससे ऐसा लगता है कि कार्यपालिका सुप्रीम कोर्ट के आदेशों का पालन नहीं करना चाहती. अदालत ने विभिन्न न्यायाधिकरणों में सदस्यों की नियुक्ति पर 10 दिनों के भीतर केंद्र से जवाब मांगा. दरअसल, अदालत विभिन्न न्यायाधिकरणों में रिक्तियों को न भरने की याचिका पर सुनवाई कर रही है.
सभी ट्रिब्यूनलों में भारी रिक्तियों पर चिंतित, शीर्ष अदालत ने आज केंद्र को फटकार लगाते हुए कहा कि यह खेदजनक स्थिति है.ऐसा लगता है कि आप सभी ट्रिब्यूनलों को बंद करना चाहते हैं. मुख्य न्यायाधीश (CJI) ने कहा कि 10 दिनों के भीतर कोर्ट को सूचित करें कि आप ट्रिब्यूनल को जारी रखना चाहते हैं या बंद करना चाहते हैं या फिर हम अधिकारियों को बुलाएंगे. 4 साल पहले CGST लागू हुआ, लेकिन विवादों पर फैसला लेने के लिए अभी तक कोई अपीलीय निकाय नहीं है. सुप्रीम कोर्ट रजिस्ट्री द्वारा उपलब्ध कराए गए आंकड़ों को पढ़ते हुए CJI ने कहा, 'देशभर में 20 पीठासीन अधिकारी और 101 न्यायिक सदस्य पद खाली है.हम नहीं जानते कि आपका क्या रुख है.आप (केंद्र) ट्रिब्यूनल के साथ जारी रखना चाहते हैं या इसे बंद करना चाहते हैं. हम जो समझते हैं वह यह है कि सरकार ट्रिब्यूनल नहीं चाहती है. हमें कुछ संदेह है कि कुछ लॉबी रिक्तियों को न भरने के लिए काम कर रही हैं. जस्टिस सूर्यकांत ने केंद्र की ओर से पेश सॉलिसिटर जनरल से कहा कि यदि आप ट्रिब्यूनल नहीं चाहते हैं तो आप लोगों को उपचारहीन नहीं रख सकते. यदि आप ट्रिब्यूनल नहीं चाहते हैं तो उन्हें हाईकोर्ट में जाने दे.
इस मामले में केंद्र को दस दिनों के भीतर जवाब देने की चेतावनी देते हुए CJI ने कहा, 'हम उम्मीद करते हैं कि आप एक सप्ताह के भीतर तय करें.हमें रिपोर्ट करें क्योंकि हम गंभीर हैं. हम आपके अधिकारियों को पेश होने और समझाने के लिए मजबूर करेंगे. ऐसी स्थिति न बनाएं. अदालत ने केंद्र से कहा कि सुप्रीम कोर्ट के मौजूदा जजों ने विभिन्न ट्रिब्यूनलों में नियुक्ति के लिए नामों की सिफारिश की है लेकिन सरकार ने ऐसा नहीं किया. सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने अदालत से कहा कि वह इसे सरकार को बताएंगे और 10 दिनों में वापस बताएंगे. CJI ने कहा कि आइए उम्मीद करते हैं कि स्वतंत्रता दिवस के बाद कुछ होगा.16 अगस्त को मामले की सुनवाई होगी. भारत के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति एनवी रमना और न्यायमूर्ति सूर्यकांत की पीठ देशभर के ट्रिब्यूनल में नियुक्ति करने में केंद्र द्वारा देरी की याचिकाओं पर सुनवाई कर रही है.
नई दिल्ली । शौर्य पथ ।
भारत के पहले स्वदेश निर्मित एयरक्राफ्ट कैरियर 'विक्रांत' का समुद्र में बहुप्रतीक्षित ट्रायल बुधवार को शुरू हो गया। यह देश में बना सबसे बड़ा और विशालकाय एयरक्राफ्ट कैरियर है।
देश के पहले स्वदेशी एयरक्राफ्ट कैरियर 'विक्रांत' के सी-ट्रायल शुरू होने को इंडियन नेवी ने देश के लिए 'गौरवान्वित करने वाला और ऐतिहासिक' दिन बताया है। इस एयरक्राफ्ट कैरियर को बनाने में जिन सामग्रियों और उपकरणों का इस्तेमाल हुआ है, उनमें 76 प्रतिशत से ज्यादा देसी हैं। भारत के इस महायोद्धा के समंदर में उतरने से चीन और पाकिस्तान को मिर्ची लगनी लाजिमी है। दरअसल 'विक्रांत' नाम आते ही पाकिस्तान को तो 1971 की अपनी करार हार याद आएगी। क्यों, इसके बारे में हम आगे बताएंगे। वहीं विक्रांत का मतलब है कि हिंद महासागर क्षेत्र में अपनी मौजूदगी बढ़ाने में लगे चीन को अब किसी भी हिमाकत से पहले कई बार सोचना पड़ेगा।
40 हजार टन वजन, तैनात किए जा सकेंगे 30 फाइटर जेट
विक्रांत का वजन 40,000 टन है। यह एयरक्राफ्ट कैरियर करीब 262 मीटर लंबा और 62 मीटर चौड़ा है। इस पर 30 लड़ाकू विमान और हेलिकॉप्टर तैनात किए जा सकते हैं। एयरक्राफ्ट कैरियर 'विक्रांत' पर मिग-29के लड़ाकू विमानों और केए-31 हेलिकॉप्टरों का एक बेड़ा तैनात किया जाएगा।
ऐतिहासिक उपलब्धि... चुनिंदा देशों में शुमार हुआ भारत
इसके साथ ही भारत उन चुनिंदा देशों में शुमार हो गया है, जिनके पास स्वदेश में डिजाइन करने, निर्माण करने और अत्याधुनिक एयरक्राफ्ट कैरियर तैयार करने की विशिष्ट क्षमता है।
निर्माण में लगे 23 हजार करोड़, अगले साल नेवी में हो सकता है शामिल
इस एयरक्राफ्ट कैरियर को सभी जरूरी ट्रायल्स पूरे करने के बाद अगले साल की दूसरी छमाही में इंडियन नेवी में शामिल किए जाने की उम्मीद है। इसे करीब 23,000 करोड़ रुपये की लागत से तैयार किया गया है। विक्रांत को कोचिन शिपयार्ड लिमिटेड ने बनाया है।
'आत्मनिर्भर भारत' के फौलादी इरादों का गवाह
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने विक्रांत के समुद्र में उतरने को आत्मनिर्भरता के लिए देश के अडिग प्रण की सच्ची गवाही बताया है। उन्होंने कहा कि कोरोना के बावजूद भी सच्चे समर्पण और सभी स्टेकहोल्डर्स की प्रतिबद्धता की वजह से यह ऐतिहासिक मील का पत्थर हासिल हुआ है। इंडियन नेवी के प्रवक्ता कमांडर विवेक मधवाल ने भी कहा कि ‘आत्मनिर्भर भारत’ और ‘मेक इन इंडिया’ पहल में यह एक गौरवान्वित करने वाला और ऐतिहासिक क्षण है।’
भारत के लिए गौरव का क्षण...ऐतिहासिक दिन
खास बात यह है कि 'विक्रांत' नाम के ही एक एयरक्राफ्ट कैरियर ने 50 साल पहले 1971 के भारत-पाक युद्ध में हिंदुस्तान की जीत में अहम भूमिका निभाई थी। इंडियन नेवी के प्रवक्ता कमांडर विवेक मधवाल ने कहा, ‘यह भारत के लिए गौरवान्वित करने वाला और ऐतिहासिक दिन है क्योंकि 1971 के युद्ध में जीत में अहम भूमिका निभाने वाले अपने शानदार पूर्ववर्ती जहाज के 50वें साल में आज यह प्रथम समुद्री परीक्षण के लिए रवाना हुआ।’
भारत में बना सबसे बड़ा और विशालकाय एयरक्राफ्ट कैरियर
'विक्रांत' कई मामलों में बेहद खास है। न सिर्फ यह भारत का पहला स्वदेशी एयरक्राफ्ट कैरियर है बल्कि देश में बना सबसे बड़ा और विशालकाय युद्धपोत भी है। इंडियन नेवी में शामिल होने के बाद यह देश का दूसरा एयरक्राफ्ट कैरियर होगा। फिलहाल भारत में सिर्फ एक एयरक्राफ्ट कैरियर है- आईएनएस विक्रमादित्य।
हिंद महासागर में नहीं चलेंगी चीन की चालबाजियां
इंडियन नेवी हिंद महासागर क्षेत्र में सैन्य मौजूदगी बढ़ाने की चीन की बढ़ती कोशिशों के मद्देनजर अपनी संपूर्ण क्षमता महत्वपूर्ण रूप से बढ़ाने पर जोर दे रही है। हिंद महासागर, देश के रणनीतिक हितों के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। 'विक्रांत' के जरिए भविष्य में हिंद महासागर क्षेत्र में चीन की किसी की तरह की चालबाजी या हिमाकत का समय रहते मुंहतोड़ जवाब दिया जा सकेगा।
नई दिल्ली/ शौर्यपथ / कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने हर काम का श्रेय लेने पर केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार की आलोचना की है और कविता के जरिए उन पर तंज कसा है. राहुल ने कहा है कि चूल्हा भले ही मिट्टी का हो और मिट्टी किसी तालाब की हो लेकिन उस तालाब पर हक केवल दो लोगों का है. उन्होंने किसानों के मुद्दे पर मुंह मोड़ने और दो लोगों के लिए काम करने का भी आरोप मोदी सरकार पर लगाया है.
राहुल ने लिखा है, "चूल्हा मिट्टी का..मिट्टी तालाब की.. तालाब ‘हमारे दो' का... बैल ‘हमारे दो' का,, हल ‘हमारे दो' का,, हल की मूठ पर हथेली किसान की,,फ़सल ‘हमारे दो' की.. कुआँ ‘हमारे दो' का,, पानी ‘हमारे दो' का,, खेत-खलिहान ‘हमारे दो' के ,, PM ‘हमारे दो' के.. फिर किसान का क्या? किसान के लिए हम हैं!"
बता दें कि कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे किसानों के समर्थन में आज 14 विपक्षी दलों के नेता जंतर-मंतर पहुंचे. इसमें राहुल गांधी भी शामिल थे. राहुल ने कहा कि सभी सांसद किसानों के समर्थन में वहां पहुंचे हैं. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार को हर हाल में काले कृषि कानून रद्द करने होंगे.
राहुल ने पेगासस जासूसी कांड पर भी सरकार की आलोचना की और कहा कि हर भारतीय के फोन में मोदी घुस गए हैं. जंतर-मंतर पर पहुंचने से पहले सभी विपक्षी दलों के नेताओं ने एक संयुक्त बैठक भी की थी.
नई दिल्ली/ शौर्यपथ / GNCTD एक्ट में हाल ही में किए गए संशोधन के खिलाफ दिल्ली विधानासभा ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है. दिल्ली विधानसभा अध्यक्ष रामनिवास गोयल ने कहा कि ''विधानसभा की समितियों के अधिकार छीने जाने के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाएंगे.'' मार्च 2021 में केंद्र सरकार ने GNCTD एक्ट में संशोधन किया था. इस संशोधन का दिल्ली सरकार शुरू से विरोध करती आ रही है. दिल्ली विधानसभा का आरोप है कि एस एक्ट में संशोधन कर केंद्र सरकार दिल्ली सरकार के हक का दायरा समेटना चाहती है.
दरअसल आम आदमी पार्टी के 2 विधायकों सोमनाथ भारती और बंदना कुमारी ने विधानसभा में सवाल पूछे, जिसका अधिकारियों ने 'रिज़र्व सब्जेक्ट' का हवाला देकर उत्तर नहीं दिया. इसके बाद विधानसभा अध्यक्ष ने फैसला किया है कि इस मामले को विशेषाधिकार समिति को भेजा जाएगा. विशेषाधिकार समिति का फैसला आने के बाद मामले को सुप्रीम कोर्ट में भेजा जाएगा.
मार्च 2018 में ही उपराज्यपाल के यहां से आदेश आया था कि कोई भी अधिकारी रिज़र्व सब्जेक्ट (पुलिस,ज़मीन और कानून व्यवस्था) पर विधानसभा को जवाब नहीं देगा. इसमें बाद में सर्विस भी जोड़ दिया गया था.
लेकिन विधानसभा अध्यक्ष रामनिवास गोयल का कहना है कि रिज़र्व सब्जेक्ट पर विधानसभा कानून नहीं बना सकती, यह हम मानते हैं लेकिन अगर दिल्ली की विधानसभा दिल्ली के मामलों पर सवाल भी नहीं पूछेगी, तो फिर ये केवल एक डाकघर बनकर रह जायेगी. इसलिए अब सुप्रीम कोर्ट जाने का फैसला किया गया है.
नई दिल्ली/ शौर्यपथ / टोक्यो ओलंपिक में भारतीय पुरुष और महिला हॉकी टीम के प्रदर्शन के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के सर्वोच्च खेल पुरस्कार 'खेल रत्न' को हॉकी के जादूगर मेजर ध्यानचंद का नाम देने क ऐलान किया है. पीएम ने एक ट्वीट करके यह जानकारी दी. उन्होंने ट्वीट में लिखा, ' 'मेजर ध्यानचंद भारत के उन अग्रणी खिलाड़ियों में से थे जिन्होंने भारत के लिए सम्मान और गौरव लाया, लोगों की भावनाओं को देखते हुए, इसका नाम अब मेजर ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार किया जा रहा है.' गौरतलब है के खेल रत्न पुरस्कार पहले 'राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार' के नाम से जाना जाता था. सोशल मीडिया पर लोगों ने इस निर्णय का यह पहले हुए समर्थन किया है कि स्पोर्ट्स अवार्ड राजनेताओं के नाम पर नहीं बल्कि खिलाड़ियों के नाम पर ही होने चाहिए. हालांकि वे इस ओर इशारा करने से नहीं चूके कि अहमदाबाद के क्रिकेट स्टेडियम का नामकरण पीएम मोदी पर किया गया है. विपक्ष के नेताओं सहित कई यूजर्स ने मांग की कि अहमदाबाद के नरेंद्र मोदी स्टेडियम का नामकरण भी किसी खेल शख्सियत पर किया जाए.
गौरतलब है कि फरवरी 2020 में अहमदाबाद के सरदार पटेल स्टेडिययम, जिसे मोटेरा स्टेडियम के नाम से भी जाना जाता है, का नामकरण पीएम मोदी पर किया गया था. मोदी गुजरात क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष भी हर चुके हैं. नरेंद्र मोदी स्टेडियम को दुनिया के सबसे विशाल क्रिेकेट स्टेडियम होने का रुतबा हासिल है. खेल रत्न अवार्ड के नए नामकरण का स्वागत करते हुए क्रिकेटर इरफान पठान ने कहा, 'उम्मीद है भविष्य में खेल स्टेडियमों के नाम प्लेयर्स पर भी रखे जाएंगे.'
यूट्यूबर ध्रुव राठी ने लिखा, 'मोदी सरकार की ओर से राजीव गांधी खेल रत्न अवार्ड का नामकरण मेजर ध्यानचंद खेल रत्न अवार्ड करने का महान फैसले, अब मैं उम्मीद करता हूं कि वे नरेंद्र मोदी स्टेडियम और अरुण जेटली स्टेडियम को भी नया नाम देंगे. सभी राजनेताओं के नाम हटाए जाएंगे. ' दिल्ली के फिरोज शाह कोटला का नामकरण पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण जेटली पर किया गया है जो दिल्ली जिला क्रिकेट एसोसिएशन के अध्यक्ष रह चुके हैं. कुछ अन्य यूजर्स के भी इस मामले में ट्वीट सामने आए हैं.
गुजरात के नेता शंकर सिंह बाघेला ने ट्वीट किया, 'नरेंद्र मोदी सरकार ने राजीव गांधी खेल रत्न अवार्ड का नामकरण मेजर ध्यानचंद खेल रत्न अवार्ड कर दिया है. मैं उनसे अनुरोध करना चाहिए कि नरेंद्र मोदी स्टेडियम को भी वापस सरदार पटेल स्टेडियम कर दें.'
गौरतलब है कि टोक्यो ओलिंपिक में भारतीय पुरुष और महिला टीम के शानदार प्रदर्शन ने एक बार फिर इस खेल के प्रति लोगों का ध्यान आकर्षित किया है. मनप्रीत सिंह के नेतृत्व वाली पुरुष हॉकी टीम ने जहां ओलिंपिक में कांस्य पदक जीता, वहीं रानी रामपाल की कप्तानी वाली भारतीय महिला हॉकी टीम कांस्य पदक के मुकाबले में ब्रिटेन से 3-4 के अंतर से हार गई. महिला हॉकी टीम अपना मुकाबला आज हारी जरूर लेकिन वह अपने जुझारू प्रदर्शन से खेलप्रेमियों का दिल जीतने में सफल रही.
मनोरंजन / शौर्यपथ /अमिताभ बच्चन फिल्मों में अपने किरदार के साथ प्रयोग करते रहते हैं। उनके लुक्स से लेकर हेयरस्टाइल तक बदलते रहते हैं हालांकि अमिताभ सालों से फ्रेंच कट दाढ़ी में नजर आ रहे हैं। उनके इस लुक के पीछे बहुत ही रोचक किस्सा है।
अमिताभ के लुक्स का खुलासा
निर्देशक राकेश ओमप्रकाश मेहरा का इसमें काफी योगदान है। हाल ही में उनकी ऑटोबायोग्राफी ‘द स्ट्रेंजर इन द मिरर’ लॉन्च किया गया जिसमें उन्होंने अपनी डेब्यू फिल्म ‘अक्स’ के बारे में बताया है। फिल्म में अमिताभ बच्चन अहम रोल में थे।
अमिताभ बच्चन की ओर से बताया गया कि ‘वही थे जिन्होंने फिल्म “अक्स” में फ्रेंच कट दाढ़ी को डिजाइन किया। तब से मैंने इसे हटाया नहीं।‘ राकेश लिखते हैं कि ‘क्या कोई डेब्यू करने वाला निर्देशक बड़े पर्दे पर एक दिग्गज को प्रयोग के लिए कह सकता है?’
स्क्रिप्ट पढ़कर कैसे दिया रिएक्शन
राकेश ने बताया कि जब अमिताभ बच्चन ने फिल्म की स्क्रिप्ट पढ़ी तो उनकी क्या प्रतिक्रिया थी। राकेश लिखते हैं कि ‘1998 की सर्दी थी। मैंने अमित जी को एक स्क्रिप्ट दी थी जिसे उन्हें शाम को दिल्ली जाने वाली फ्लाइट में पढ़ने का अनुमान था। मैं कांप रहा था, उत्साहित था कि वह क्या सोचते हैं।‘
अमिताभ बच्चन पूछते हैं कि ‘जब तुम स्क्रिप्ट लिख रहे थे तो क्या पी रहे थे?’ मैंने कहा- ‘कोक और रम सर।‘ अमिताभ आगे कहते हैं, ‘चलो करते हैं।‘
बता दें कि राकेश ओम प्रकाश की मुख्य फिल्मों में ‘दिल्ली 6’ और ‘रंग दे बसंती’ है। हाल ही में उनकी फिल्म ‘तूफान’ रिलीज हुई।
खेल / शौर्यपथ / इंग्लैंड की कंडीशन्स में बल्लेबाजी करना आसान नहीं होता है। यहां गेंद स्विंग करती है, विकेट में उछाल और तेजी होती है, ऐसे में टिककर खेल पाना काफी मुश्किल हो जाता है। टीम इंडिया के सलामी बल्लेबाज रोहित शर्मा ने केएल राहुल के साथ मिलकर टीम इंडिया को अच्छी शुरुआत दी। रोहित ने 107 गेंदों का सामना करके 36 रन बनाए। रोहित ने मैच के दूसरे दिन का खेल खत्म होने का बाद बताया कि इंग्लैंड की कंडीशन्स में बल्लेबाजी के लिए उन्होंने खुद में क्या बदलाव किए हैं।
रोहित ने दूसरे दिन का खेल खत्म होने के बाद कहा, 'हां, आपको काफी कुछ बदलना होता है और यह कुछ ऐसा जो मैंने भी किया है। जब गेंद स्विंग होती है तो आपके खेल के बहुत सारे तकनीकी पहलू होते हैं, जिसका आपको एक सलामी बल्लेबाज के रूप में इस्तेमाल करने की जरूरत होती है।' उन्होंने कहा, 'इन परिस्थितियों में खेलना कभी आसान नहीं होता, लेकिन आप मुश्किल परिस्थितियों में हमेशा खुद को एक बल्लेबाज के रूप में चुनौती देते हैं। मैं भी यही करने की कोशिश कर रहा हूं।'
उन्होंने कहा, 'मैंने अपनी तकनीक में भी कुछ बदलाव किए हैं। मैं क्रीज में ज्यादा हिलने-डुलने की कोशिश नहीं कर रहा हूं, बल्ले को शरीर के करीब रखते हुए जितना हो सके स्थिर रहने की कोशिश कर रहा हूं।' रोहित बल्लेबाजी के लिए मुश्किल परिस्थितियों का सामना करने के बाद पुल शॉट खेलने के कारण 36 रन पर आउट हो गए। उन्होंने इस शॉट का बचाव करते हुए कहा कि अगर गेंद उनकी पहुंच में रही तो वह शॉट खेलेंगे। खराब रोशनी और बारिश के कारण दिन में केवल 33.4 ओवर का खेल ही हो पाया, जिसमें भारत ने अपनी पहली पारी में चार विकेट पर 125 रन बनाए। तेज गेंदबाज जेम्स एंडरसन की अगुवाई में इंग्लैंड ने 15 रन के अंदर चार विकेट निकालकर भारत को बैकफुट पर ढकेल दिया। भारत इंग्लैंड के 183 रन से 58 रन पीछे है।
मनोरंजन / शौर्यपथ /सैफ अली खान भले ही सोशल मीडिया पर ना हों लेकिन उनके परिवार के अन्य सदस्य काफी सक्रिय हैं। सैफ की बहन सबा पटौदी अक्सर परिवार की तस्वीरें पोस्ट करती रहती हैं। चाहे वह तैमूर हो या सारा अली खान की फोटो हो, सबा थ्रोबैक के जरिए पुरानी यादें ताजा कर देती हैं। इस बार सबा ने भाई सैफ अली खान की एक तस्वीर शेयर की है जो उनके बचपन के दिनों की है। तस्वीर में सैफ के अलावा उनकी बहनें सोहा अली खान, सबा पटौदी, शर्मिला टैगोर और मंसूर अली खान पटौदी हैं।
सैफ का परिवार
ब्लैक एंड व्हाइट फोटो में सैफ अपने पिता के ठीक बगल में खड़े हैं। उनके पास सबा खड़ी हैं। शर्मिला ने सोहा को अपनी गोद में लिया हुआ है। तस्वीर के साथ सबा ने कैप्शन में लिखा- ‘परिवार... पोट्रेट्स, खान परिवार।‘
तैमूर से की तुलना
सैफ अली खान हूबहू तैमूर जैसे दिख रहे हैं। कई फैंस ने इस चीज को नोटिस भी किया और सैफ-तैमूर की तुलना करने लगे। एक यूजर ने लिखा- आपके परिवार की फोटो हमेशा खास होती है। एक अन्य ने लिखा- सैफ अली खान टिम की तरह हैं। एक ने लिखा- सैफ कितने क्यूट हैं।
पॉपुलर स्टारकिड तैमूर
करीना कपूर और सैफ अली खान ने साल 2016 में अपने पहले बच्चे तैमूर का स्वागत किया। उनके दूसरे बेटे जेह का जन्म इसी साल हुआ। तैमूर बॉलीवुड के सबसे पॉपुलर स्टारकिड्स में से हैं। उनकी तस्वीरें आते ही सोशल मडिया पर वायरल हो जाती हैं।
बता दें कि परिवार के अन्य सदस्यों की तरह सबा एक्टिंग के क्षेत्र में नहीं हैं। वह पेशे से एक ज्वैलरी डिजाइनर हैं।
सेहत / शौर्यपथ /राजमा को किडनी बीन्स भी कहा जाता है। कुछ समय में इसका सेवन बहुत अधिक बढ़ गया है। खासकर लोग राजमा-चावल खाना बहुत अधिक पसंद करते हैं। लेकिन बहुत कम लोग इस बात से वाकिफ होंगे कि राजमा का सेवन बहुत पौष्टिक होता है। इसमें भरपूर मात्रा में विटामिन्स और अन्य तत्व मौजूद होते हैं । विटामिन बी, विटामिन बी 2, विटामिन ई,विटामिन के, कैल्शियम, कॉपर, लोहा, मैंगनीज, फास्फोरस, पोटेशियम, सोडियम, जस्ता, ओमेगा-3 फैटी एसिड, ओमेगा-6 फैटी एसिड, कोलेन, पैंटोथेनिक एसिड, जैसे तत्व मौजूद होते हैं इसलिए राजमा खाने के फायदे भी बहुत सारे हैं। आइए जानते हैं -
वजन करें कंट्रोल - जी हां, अगर आप अलग-अलग तरह से वजन कंट्रोल कर थक गए है तो राजमा को अपनी डाइट में शामिल करें। आप इसकी सब्जी की बजाए सलाद और सूप के रूप में इसका इस्तेमाल कर सकते हैं। यह हर आयु वर्ग के लिए सही है। पोषण से भरपूर राजमा से वजन कम कंट्रोल करने में मदद मिलेगी।
ताकत बढ़ाएं - दरअसल, राजमा में भरपूर मात्रा में आयरन होता है, जिससे ताकत अच्छे से मिलती है। बता दें कि शरीर की उर्जा और मेटाबॉलिज्म के लिए आयरन सबसे अधिक जरूरी है। वह राजमा में होता है। साथ ही ऑक्सीजन का सर्कुलेशन भी बढ़ता है। इसलिए राजमा का सेवन सप्ताह में 2 बार जरूर करें।
पाचन क्रिया सुधारे - राजमा में उचित मात्रा में फाइबर होता है। जिससे पाचन क्रिया स्वस्थ्य रहती है। इसका सेवन करने से ब्लड शुगर भी नियंित्रत रहता है। बढ़ती उम्र को रोके -दरअसल राजमा में भरपूर मात्रा में एंटीऑक्सीडेंट होता है, जो बढ़ती उम्र की कोशिकाओं को धीमा करता है। साथ ही झुर्रियों को कम करने, मुहांसे कम करने, बालों और नाखूनों को बेहतर बनाता है।
दिल का रखें ख्याल - राजम में मैंग्नीशियम भी मौजूद होता है। जो कोलस्ट्रोल को कंट्रोल करने में मदद करता है। शरीर में रक्तप्रवाह, धमनियों की गति, और दिल से जुड़ी अन्य बीमारियों को दूर करने में मदद करता है।
अस्थमा मरीजों के लिए रामबाण - राजमा में मौजूद ब्रोन्कोडायलेटरी बहुत प्रभावी होता है। वह फेफड़ों को मजबूत करता है और वायु मार्ग को सुगम बनाता है। शोध में भी सामने आया है कि मैग्नीशियम का स्तर कम होने पर अस्थमा से जल्दी प्रभावित होते हैं।
हड्डियों को करें मजबूत - राजमा में मौजूद मौगनीज और कैल्शियम हड्डियों को मजबूत करता है। साथ ही ऑस्टियोपोरोसिस को भी रोकने में मदद करता है। राजमा में मौजूद फोलेट जोड़ों और हड्डियों को स्वस्थ्य रखने में मदद करता है।
गठिया बादी मिलेगा आराम - आज के वक्त में जॉइंट पेन एक आम बात हो गई है। लेकिन उसका दर्द पूरे समय बना रहता है। इसलिए अपने भोजन में राजमा जरूर शामिल करें।क्योंकि राजमा में उच्च मात्रा में तांबा मौजूद होता है जिससे शरीर में सूजन कम होती है और दर्द में आराम मिलता है।
प्रोटीन का सबसे अच्छा स्त्रोत - शाकाहारी लोगों के लिए राजमा प्रोटीन का सबसे अच्छा स्त्रोत है। चावल के साथ के इसका प्रयोग करने पर शरीर में प्रोटीन की मात्रा बढ़ जाती है।
उक्त रक्तचाप को कम करें - कोविड की वजह से लोगों में हाइपरटेंशन की समस्या तेजी से बढ़ी है। राजमा में मैग्नीशियम, फाइबर और प्रोटीन का अच्छा स्त्रोत है। यह रक्तचाप को सामान्य करने में मदद करता है। साथ ही इसमें मौजूद मैग्नीशियम से माइग्रेन का दर्द भी कम होता है।